आज की भागदौड़ भरी जिंदगी में सेहत को संतुलित रखना सबसे बड़ी चुनौती बन चुकी है। हमारी डाइट और जीवनशैली में होने वाली गड़बड़ियों के कारण शरीर को सही पोषण नहीं मिल पाता, जिससे कई तरह की समस्याएँ जन्म लेती हैं। ऐसे में आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियाँ एक बेहतरीन सहारा साबित हो सकती हैं। ये न सिर्फ प्राकृतिक होती हैं, बल्कि इनके सेवन से किसी तरह के साइड इफ़ेक्ट का डर भी नहीं रहता। इन्हीं में से एक है शतावरी—एक ऐसी हर्ब, जिसका नाम आपने ज़रूर सुना होगा। सदियों से आयुर्वेद में इसे खास स्थान दिया गया है।
कहा जाता है कि ये हर्ब शरीर को भीतर से मज़बूत बनाती है और रोजमर्रा की कई परेशानियों से निपटने में मदद करती है। खास बात यह है कि शतावरी का इस्तेमाल किसी भी उम्र का व्यक्ति आसानी से अपनी दिनचर्या में शामिल कर सकता है। आइए जानते हैं, क्यों इसे प्राकृतिक सेहत का खज़ाना कहा जाता है।
आजकल की तेज रफ्तार जिंदगी में तनाव आम बात हो गई है। शतावरी शरीर में ऐसे हार्मोन (एंडोर्फिन, सेरोटोनिन, डोपामाइन) को सक्रिय करती है जो मूड को बेहतर बनाते हैं और तनाव को कम करते हैं।
अगर आपको गैस, अपच या पेट से जुड़ी दिक्कतें रहती हैं, तो शतावरी मददगार साबित हो सकती है। ये फैट और कार्बोहाइड्रेट के पाचन को आसान बनाती है और पेट को हल्का रखती है।
शतावरी शरीर में एस्ट्रोजन लेवल को संतुलित करती है। मासिक धर्म की अनियमितता, पीसीओएस या मेनोपॉज जैसी समस्याओं में इसका सेवन आराम दे सकता है।
एंटीऑक्सीडेंट गुणों वाली शतावरी त्वचा की चमक बढ़ाने और बालों के झड़ने को रोकने में भी सहायक है। ये शरीर को अंदर से पोषण देकर हेल्दी लुक देती है।
डिस्क्लेमर: यह लेख सिर्फ सामान्य जानकारी के लिए है। किसी भी तरह से किसी दवा या इलाज का विकल्प नहीं हो सकता। ज्यादा जानकारी के लिए हमेशा अपने डॉक्टर से संपर्क करें।