GDP Growth Forecast: वैश्विक रेटिंग एजेंसी एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स का मानना है कि अगले दो वित्त वर्षों में भारतीय जीडीपी के ग्रोथ की रफ्तार पहले के अनुमान से सुस्त रहेगी। हालांकि एसएंडपी ने चालू वित्त वर्ष 2024-25 में भारतीय जीडीपी ग्रोथ के अनुमान में कोई बदलाव नहीं किया है और इसे 6.8 फीसदी पर स्थिर बनाए रखा है। वहीं दूसरी तरफ अब एसएंडपी रेटिंग्स का मानना है कि वित्त वर्ष 2025-26 में यह 6.7 फीसदी और वित्त वर्ष 2026-27 में 6.8 फीसदी की रफ्तार से बढ़ेगी जोकि पहले के अनुमान से 0.20-0.20 फीसदी कम है। वहीं 2027-28 के लिए 7 फीसदी की ग्रोथ अनुमान में कोई बदलाव नहीं किया है।
S&P ने क्यों की ग्रोथ अनुमान में कटौती?
एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स का कहना है कि ब्याज की ऊंची दरें और कम वित्तीय प्रोत्साहन से शहरी मांग प्रभावित हो रहे हैं। इसका कहना है कि पर्चेजिंग मैनेजर इंडिसेज (PMIs) विस्तार जोन में बने हुए हैं लेकिन बाकी हाई-फ्रीक्वेंसी इंडिकेटर्स से संकेत मिल रहा है कि सितंबर तिमाही में कंस्ट्रक्शन सेक्टर को जो नुकसान पहुंचा है, उससे विकास की स्पीड में कुछ सुस्ती आई है। S&P ग्लोबल रेटिंग्स का अनुमान है कि आरबीआई इस वित्त वर्ष सिर्फ एक बार ही दरों में कटौती करेगा।
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने पिछले हफ्ते कहा था कि भारतीय अर्थव्यवस्था में हाल की तिमाहियों में दिखी कमजोरी अब बीते दिनों की कहानी है। आरबीआई ने अपने मंथली बुलेटिन में कहा कि फेस्टिव सीजन में खर्चों ने घरेलू मांग को बढ़ावा दिया। जून तिमाही में भारतीय अर्थव्यवस्था 6.7 फीसदी की रफ्तार से बढ़ी जो आरबीआई के 7.1 फीसदी के ग्रोथ अनुमान से कम है। अब सितंबर तिमाही के आधिकारिक आंकड़े 29 नवंबर की शाम तक आने हैं। आरबीआई ने इस पूरे वित्त वर्ष 2024-25 की जीडीपी ग्रोथ 7.2 फीसदी का अनुमान लगाया है जबकि आईएमएफ का अनुमान 7 फीसदी पर है और विश्व बैंक का भी।