प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सबसे महत्वाकांक्षी कार्यक्रमों में से एक प्रधानमंत्री गति शक्ति (Pradhan Mantri Gati Shakti (PMGS) के तहत के 22 प्रमुख बुनियादी ढांचा परियोजनाओं के लिए कुल 1 लाख करोड़ रुपये से अधिक के निवेश को मंजूरी दी गई है। सीएनबीसी-आवाज़ के लक्ष्मण रॉय ने सूत्रों के हवाले से ये जानकारी दी है।
सूत्रों के मुताबिक नेटवर्क प्लानिंग ग्रुप (Network Planning Group (NPG) ने इन परियोजनाओं को लागू करने की सिफारिश की है। PMGS के तहत NPG विभिन्न विभागों के अधिकारियों का एक समूह है।
इन 22 परियोजनाओं में से आठ परियोजाएंआवास और शहरी मामलों के मंत्रालय के अधीन हैं, छह परियोजनाएं रेल मंत्रालय के अधीन हैं, चार परियोजनाएं पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय के अधीन हैं, दो परियोजनाएं सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के अधीन हैं और दो इंडस्ट्रियल कोरीडोर्स से संबंधित हैं।
इनमें दिल्ली मास रैपिड ट्रांसपोर्ट सिस्टम (DMRTS) के तीन कॉरिडोर, चरण IV, कुल 13,011.25 करोड़ रुपये के निवेश के लिए शामिल हैं। इसके अलावा 10,412 करोड़ रुपये की ठाणे इंटरनल मेट्रो रेल प्रोजेक्ट्स, 3,668.04 करोड़ रुपये के लिए पुणे मेट्रो का विस्तार और 2,456 करोड़ रुपये के लिए नोएडा मेट्रो विस्तार वाली परियोजाएं भी शामिल हैं।
दो इंटीग्रेटेड मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर (IMC) को मंजूरी दी गई है। इसमें से एक पंजाब के राजपुरा में कुल 1,367.72 करोड़ रुपये के निवेश के साथ और दूसरा उत्तराखंड के उधम सिंह नगर में है। ये IMCs बाजार में तेजी से पहुंच, पानी और बिजली की पर्याप्त आपूर्ति और वेस्ट मैनेजमेंट और मैन्युफैक्चरर्स और निवेशकों के लिए रीसाइक्लिंग सुविधाओं को सुनिश्चित करेंगे।
इंडियन ऑयल द्वारा विकसित किए जाने वाले मलकापुर टर्मिनल से हैदराबाद अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे तक एक एविएशन टरबाइन ईंधन (ATF) पाइपलाइन को मंजूरी दे दी गई है। दो प्राकृतिक गैस पाइपलाइन परियोजनाओं को भी मंजूरी दी गई है।
इन परियोजनाओं की स्वीकृति का अर्थ है कि अब विभिन्न विभागों के बीच समन्वय के मामले में कोई बाधा नहीं आएगी और परियोजनाओं को तेजी से क्रियान्वित किया जाएगा।
इस साल की शुरुआत में जून में इस्पात मंत्रालय ने पीएम गति शक्ति के तहत मल्टीमॉडल कनेक्टिविटी और ब्रिज इंफ्रास्ट्रक्चर गैप विकसित करने के लिए 38 हाई-इम्पैक्ट्स वाली परियोजनाओं की पहचान की थी।