IIT outside India: तकनीकी शिक्षा के मामले में आईआईटी (IIT) देश का सबसे प्रतिष्टित इंस्टीट्यूट है। अब इसका कैंपस देश के बाहर भी खुलने वाला है। देश के बाहर सबसे पहला आईआईटी कैंपस अफ्रीकी देश तंजानिया के जंजीबार में खुला था। इसे लेकर मिनिस्ट्री ऑफ एडुकेशन (MoE), आईआईटी मद्रास और तंजानिया-जंजीबार के मिनिस्ट्री ऑफ एडुकेशन एंड वोकेशनल ट्रेनिंग के बीच 5 जुलाई को MOU (मेमोरेंडम ऑफ अंडरस्टैंडिंग) पर साइन हुए। इस मौके पर जंजीबार के राष्ट्रपति डॉ हुसैन अली म्विन्यी और भारतीय विदेश मंत्री डॉ एस जयशंकर उपस्थित रहे। बता दें कि जंजीबार तंजानिया का सेमी-ऑटोनॉमस प्रोविंस है।
अक्टूबर से शुरू हो जाएगी पढ़ाई
मंत्रालय की तरफ से जारी रिलीज के मुताबिक तंजानिया और भारत के बीच रणनीतिक साझेदारी को मान्यता देते हुए शैक्षिक साझेदारी को औपचारिक रूप दिया गया है। इस साझेदारी के तहत आईआईटी मद्रास जंजीबार में आईआईटी कैंपस खोलेगी और इसकी योजना वहां अक्टूबर 2023 से प्रोग्राम लॉन्च करने यानी पढ़ाई शुरू करने की है। प्रेस रिलीज के मुताबिक स्टूडेंट्स का सेलेक्शन, एकेडमिक प्रोग्राम, सिलेबस और शैक्षणिक विवरण का काम आईआईटी मद्रास संभालेगी जबकि इसे चलाने का पूरा खर्चा जंजीबार-तंजानिया सरकार उठाएगी। यहां पढ़ाई करने वाले स्टूडेंट्स को आईआईटी मद्रास की डिग्री मिलेगी। यहां पढ़ाई के लिए अफ्रीका समेत अन्य देशों के साथ-साथ भारतीय छात्रों को भी अप्लाई करने का मौका मिलेगा।
NEP 2020 के तहत विदेश में कैंपस खोलने को दिया जा रहा बढ़ावा
नई शिक्षा नीति के तहत भारतीय शैक्षणिक संस्थानों को विदेशों में कैंपस खोलने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है। राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) 2020 का फोकस अंतर्राष्ट्रीयकरण पर है और यह सिफारिश करती है कि देश के बेहतर यूनिवर्सिटीज को अन्य देशों में कैंपस स्थापित करने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। आईआईटी मद्रास अपना कैंपस अफ्रीकी महाद्वीप में खोल रही है। इससे दुनिया भर में देश की प्रतिष्ठा और डिप्लोमेटिक रिलेशनशिप्स बढ़ेगी। इसके अलावा यह आईआईटी मद्रास के एडुकेशन और रिसर्च की क्वालिटी को भी और मजबूत करेगी।