Medicines Rate: दुनिया भर में कोरोना संकट फिर से बढ़ गया है। कई देश कोरोना की मार से फिर से झेल रहे हैं। इस बीच देश में कई दवाइयों के दाम में कटौती कर दी गई है। साल में पांचवीं बार है, जब दवाओं के दाम में गिरावट आई है। नेशनल फार्मास्युटिकल प्राइसिंग अथॉरिटी (National Pharmaceuticals Pricing Authority - NPPA) ने कैंसर, डायबिटीज, बुखार और हेपेटाइटिस समेत कई गंभीर बीमारियों के इलाज में काम आने वाली दवाओं के दाम कम (Medicine prices drop) दिए हैं। यह गिरावट 40 फीसदी तक आई है। इसके साथ ही जरूरी दवाओं की लिस्ट में शामिल करीब 119 दवाओं के दाम तय कर दिए गए हैं।
बुखार में काम आने वाली दवा पैरासिटामोल के दाम (Paracetamol Rate) अब 12 फीसदी कम हो गए हैं। जिन मुख्य दवाओं की कीमतों में कमी गई है। उनमें बुखार की दवा पैरासिटामोल, मलेरिया के इलाज में काम आने वाली दवा हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन भी शामिल हैं।
384 दवाएं हैं लिस्ट में शामिल
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से जरूरी दवाओं की लिस्ट जारी की जाती है। इस साल सितंबर में यह लिस्ट जारी की गई थी। इस लिस्ट में 27 कैटेगरी में 384 दवाओं को शामिल किया गया था। लिस्ट में 34 नई दवाएं जोड़ी ग। वहीं 26 दवाओं को हटाया भी गया था। इस लिस्ट में कैंसर में इस्तेमाल होने वाली दवाएं, एंटीबॉयोटिक्स, वैक्सीन, सिगरेट की लत छुड़ाने वाली निकोटीन रिप्लेसमेंट थेरेपी समेत कई जरूरी दवाओं को जोड़ा गया। वहीं संक्रमण रोकने में काम आने वाली 18 दवाओं को स लिस्ट में जोड़ा गया।
क्लैरिथोरोमाइसिन- 34 रुपये
हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन -12.31 रुपये
तेजी से बढ़ रहे हैं कैंसर के मरीज
दुनियाभर में कैंसर के मामले हर साल बढ़ रहे हैं। भारत में भी हर साल 13 लाख कैंसर के नए मरीज सामने आ रहे हैं। चिंता की बात यह है कि अब कम उम्र में भी लोग इस बीमारी का शिकार हो रहे हैं। 50 साल की उम्र से पहले ही ब्रेस्ट कैंसर, प्रोस्टेट कैंसर और मुंह के कैंसर के मामले सामने आ रहे हैं। महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर और सर्वाइकल कैंसर के केस सबसे ज्यादा देखे जा रहे हैं।