Manipur unrest: मणिपुर के कोइरेंगेई के पास मंगलवार (17 दिसंबर) सुबह एक जिंदा मोर्टार बम मिलने से हड़कंप मच गया है। यह स्थान लुवांगशांगबाम से एक किलोमीटर की दूरी पर है, जो मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह के निजी आवास के बेहद करीब है। न्यूज 18 के मुताबिक, स्थानीय लोगों ने दावा किया कि सोमवार (16 दिसंबर) रात रॉकेट से चलने वाला बम दागा गया था, लेकिन वह फट नहीं पाया। मंगलवार सुबह 51 मिमी का मोर्टार बम बरामद हुआ, जिससे इलाके में दहशत फैल गई। सीएम के घर की सुरक्षा बढ़ा दी गई है।
अधिकारियों ने इलाके में सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दिए हैं। जिंदा बम के सोर्स और मुख्यमंत्री बीरेन सिंह के आवास के पास इसे रखने के पीछे के मकसद का पता लगाने के लिए जांच शुरू कर दी है। मौके पर भारी संख्या में सुरक्षाबल मौजूद हैं। एक अधिकारी ने बताया कि मामले में आगे की जांच चल रही है।
इस बीच, बिहार के दो प्रवासी मजदूरों की हाल में हुई हत्या के सिलसिले में प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन कांगलीपाक कम्युनिस्ट पार्टी (पीपुल्स वार ग्रुप) के आठ सदस्यों को मणिपुर के काकचिंग जिले से गिरफ्तार किया गया है। पुलिस की ओर से जारी एक बयान में कहा गया है कि दोनों मजदूरों की हत्या में शामिल लोगों को पकड़ने के लिए 14 दिसंबर को मणिपुर में तलाश अभियान शुरू किया गया था। प्रतिबंधित संगठन के एक सक्रिय सदस्य को सबसे पहले सोमवार को काकचिंग लामखाई इलाके से पकड़ा गया।
पुलिस के बयान में कहा गया कि उग्रवादियों के पास से हथियार, गोला-बारूद और 10 मोबाइल फोन बरामद किए गए। केसीपी (पीडब्ल्यूजी) प्रतिबंधित संगठन कांगलीपाक कम्युनिस्ट पार्टी का एक गुट है, जिस पर इंफाल घाटी में जबरन वसूली और अन्य अपराधों में शामिल होने का आरोप है। मुख्यमंत्री बीरेन सिंह ने मणिपुर के काकचिंग जिले में बिहार के दो भाइयों, सुनालाल कुमार (18) और दशरथ कुमार (17) की निर्मम हत्या की घटना की निंदा की थी।
उन्होंने कहा था, "इस तरह का आतंकवादी कृत्य हमारे मूल्यों पर सीधा हमला है और शोक संतप्त परिवारों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं हैं।" सिंह ने प्रत्येक शोका कुल परिवार को 10-10 लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने की भी घोषणा की है। सीएम ने कहा कि अगर जरूरत पड़ी तो मामला NIA को सौंप दिया जाएगा।
सीएम का एजेंसियों पर बड़ा आरोप
मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने सोमवार को निहित स्वार्थ वाली कुछ एजेंसियों पर मौजूदा संकट के बारे में केंद्र को गलत जानकारी देने का आरोप लगाया। सीएम ने कहा कि यह राज्य को अस्थिर करने का प्रयास है। मणिपुरवासियों के बीच एकता की आवश्यकता पर बल देते हुए मुख्यमंत्री ने यह भी कहा, "हमें ठोस और दृढ़ रुख अपनाने तथा दूरदर्शिता और दृढ़ विश्वास के साथ काम करने की आवश्यकता है।"
वह विजय दिवस के मौके पर आयोजित कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। यह दिवस 1971 में पाकिस्तानी सैनिकों द्वारा भारतीय सेना के समक्ष आत्मसमर्पण किए जाने के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। उन्होंने कहा, "हम पिछले 19 महीनों से अशांति का सामना कर रहे हैं। लोग पूछ रहे हैं कि सरकार कहां है और उनका यह पूछना सही है।" मुख्यमंत्री ने कहा, "हमारी सोच स्पष्ट है। कई एजेंसियां केंद्र को गलत जानकारी दे रही हैं और अधिकांश केंद्रीय नेताओं को नहीं पता कि संघर्ष वास्तव में किस वजह से हो रहा है।" हालांकि, सिंह ने एजेंसियों के बारे में विस्तार से नहीं बताया।
सिंह ने कहा, "कुछ एजेंसियां राज्य में मौजूदा संकट के बारे में केंद्र सरकार को गलत जानकारी दे रही हैं। इन राजनीतिक रूप से प्रेरित और पक्षपातपूर्ण सूचनाओं ने केंद्रीय नेताओं के बीच भ्रम पैदा कर दिया है, जिसके परिणामस्वरूप समस्या को हल करने के लिए आवश्यक कार्रवाई करने में देरी हो रही है।" उन्होंने भविष्य की समस्याओं को रोकने के लिए राजनीतिक नेताओं और नीति निर्माताओं के बीच सोच बदलने के महत्व पर बल दिया।