Sleeping Tips: आज कल की इस भागदौड़ भरी जिंदगी में लोग बहुत कम आराम कर पाते हैं। आज के इस डिजिटल युग में फोन, लैपटॉप टीवी से हर कोई चिपका रहता है। मोबाइल तो अब शरीर का ही एक अंग बनता जा रहा है। इसके बिना तो जिंदगी अधूरी लगती है। बहुत से लोग सोते टाइम भी मोबाइल, लैपटॉप या टीवी चलाते हैं। ये सभी डिवाइस ऑन रह जाती है और सो जाते हैं। अगर आपकी भी कुछ ऐसी ही आदतें है तो इन्हें जल्द ही सुधार कर लें। ऐसी आदतों की वजह से आप गंभीर बीमारी की चपेट में आ सकते हैं। इससे वजन बढ़ना, कैंसर जैसी बीमारियों के शिकार हो सकते हैं।
नेशनल सर्वे के मुताबिक, 61 फीसदी अमेरिकी लोग लोग रात में टीवी ऑन करके ही सो पाते हैं। वहीं, नेशनल स्लीप फाउंडेशन और जर्नल ऑफ क्लिनिकल मेडिसिन के कंबाइंड स्टडी के अनुसार, हर 9 में से 1 व्यक्ति सोने तक किसी न किसी तरह के इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस का इस्तेमाल करते हैं।
सोने से पहले बिस्तर पर फिल्में, टेलीविजन या YouTube वीडियो देखना, इंटरनेट ब्राउज करना या संगीत सुनना मानसिक और शरीरिक स्वास्थ्य दोनों के लिए बेहद हानिकारक है। वैसे भी किसी भी चीज की लत ज्यादा हो जाती है तो सेहत के लिए नुकसानदायक साबित हो सकता है। भारत में भी बहुत से लोगों की टीवी, मोबाइल ऑन करके सोने की आदत है। ऐसे में आपको याद रखना होगा कि इस तरह से इंटरनेट डिवाइस या इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस को ऑन करके सोना आपके लिए जानलेवा साबित हो सकता है।
बेडरूम में टीवी चालू करके सोने से मोटापे के शिकार हो सकते हैं। हजारों लोगों पर स्टडी करके एक डेटा तैयार किया गया है। जिसमें पता चला है कि टीवी चालू करके सोने से मोटापे के अलावा कई तरह की बीमारियों का शिकार हो सकते हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, एक स्टडी में पाया गया है कि जो लोग रात में टीवी या लैपटॉप ऑन करके सोते हैं। उनमें स्तन कैंसर, प्रोस्टेट कैंसर और कोलोरेक्टल कैंसर होने का खतरा ज्यादा रहता है। इतना ही नहीं इलेक्ट्रॉनिक्स डिवाइस का इस्तेमाल करने वाले लोगों में डिप्रेशन का खतरा भी बना रहता है। इसकी वजह ये है कि डिवाइस से निकलने वाली रोशनी से आपका दिमाग सोने के बाद भी अलर्ट मोड पर रहता है। इससे ब्रेन को पर्याप्त आराम नहीं मिल पाता है।
डिवाइस से निकलने वाली हाई एनर्जी ब्लू रे रेटिना को खराब करने का काम करती है। इतना ही नहीं लंबे समय तक इस रोशनी के संपर्क में रहने से दिखाई देना भी बंद हो सकता है।