Telecom PLI Scheme : सरकार टेलीकॉम PLI स्कीम को आसान बनाने की तैयारी कर रही है। ज्यादा से ज्यादा कंपनियां PLI का फायदा कैसे उठा सकें और टेलीकॉम उपकरणों का एक्सपोर्ट बढ़ सके इस पर दूरसंचार सचिव नीरज मित्तल ने कहा कि टेलीकॉम PLI स्कीम आसान की जाएगी। इससे सभी कंपनियों को PLI स्कीम का फायदा मिलेगा। अभी सिर्फ 21 कंपनियों को PLI मिला है। इस स्कीम के तहत 91,000 करोड़ रुपए का उत्पादन हुआ है। जबकि इसके तहत 30,000 करोड़ रुपए का एक्सपोर्ट हुआ है।
नीरज मित्तल ने आगे कहा कि अब अगर 3 महीने के अंदर कंपनियां ऑडिटेड स्टेटमेंट नहीं देती तो भी उनको PLI मिलेगी। सरकार इसमें आने वाली सभी समस्याओं को दूर करेगी। जल्दी ही सैटेलाइट सर्विसेज की शुरुआत भी देखने को मिलेगी। सरकार स्पेक्ट्रम आवंटन की गाइडलाइंस फाइनल करने की तैयारी कर रही है। उन्होंने यह भी बताया कि 6GHz स्पेक्ट्रम को भी डीलाइसेंस करने की दिशा में काम जारी है।
पीएलआई का मतलब उत्पादन-लिंक्ड प्रोत्साहन (Production-Linked Incentive) योजना है, जो भारतीय कंपनियों को उनके उत्पादन और बिक्री को बढ़ाने के लिए वित्तीय प्रोत्साहन देती है ताकि आत्मनिर्भर भारत को बढ़ावा मिल सके।
टेलीकॉम और नेटवर्किंग उत्पादों के लिए पीएलआई योजना का उद्देश्य इस सेक्टर में 12,195 करोड़ रुपए के खर्च घरेलू मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देना है। टेलीकॉम पीएलआई योजना के तहत कुल 42 कंपनियों को लाभार्थी के रूप में चिन्हित किया गया है। इसके अलावा, 5जी सेवाओं को शुरू करने के लिए, 700 मेगाहर्ट्ज, 3300 मेगाहर्ट्ज और 26 गीगाहर्ट्ज बैंड सहित अंतरराष्ट्रीय मोबाइल दूरसंचार (आईएमटी) के लिए विभिन्न स्पेक्ट्रम बैंडों में एक्सेस स्पेक्ट्रम वर्ष 2022 और 2024 में आयोजित स्पेक्ट्रम नीलामी के माध्यम से दूरसंचार सेवा प्रदाताओं (टीएसपी) को आवंटित किया गया है।