Daily Voice: बजाज आलियांज लाइफ इंश्योरेंस (Bajaj Allianz Life Insurance) के चीफ इन्वेस्टमेंट ऑफीसर संपत रेड्डी का सुझाव है कि मिडकैप और स्मॉलकैप सेगमेंट या फंड में अधिक निवेश वाले निवेशकों को अपने निवेश का कुछ हिस्सा निकाल कर लार्जकैप या फ्लेक्सीकैप फंडों में स्विच करना चाहिए। उनका मानना है कि हालिया तेज रैली के बाद स्मॉलकैप और मिडकैप का रिस्क-रिवार्ड रेशियो उतना अच्छा नहीं दिख रहा है। कैपिटल और इक्विटी मार्केट का 20 साल से ज्यादा का अनुभव रखने वाले संपत रेड्डी ने मनीकंट्रोल को दिए एक साक्षात्कार में कहा, "हम वर्तमान में लार्जकैप सेगमेंट को प्राथमिकता देते हैं।"
तेल की बढ़ती कीमतों पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि भारत में ब्रेंट क्रूड का भाव 100 डॉलर प्रति बैरल तक मैनेज किया जा सकता है। लेकिन इसका भाव 100 डॉलर प्रति बैरल से पार जाने पर महंगाई का जोखिम पैदा हो सकता है। ऐसा होने पर देश का चालू खाता घाटा बढ़ जाएगा। क्योंकि देश अपनी जरूरत का 85 फीसदी के आसपास तेल आयात करता है।
बाजार पर बात करते हुए उन्होंने आगे कहा कि मार्च 2023 के बाद से ही स्मॉलकैप और मिडकैप सेगमेंट में जोरदार तेजी आई है। स्मॉलकैप और मिडकैप सेगमेंट ने लार्जकैप सेगमेंट से काफी बेहतर प्रदर्शन किया है। इस रैली को मजबूत घरेलू निवेश और निवेशकों के बढ़ती जोखिम उठाने की क्षमता से सोपर्ट मिल रहा है। स्मॉलकैप और मिडकैप शेयरों को पॉजिटव खबरों के प्रवाह से भी सपोर्ट मिल रहा है। लेकिन इतनी ज्यादा तेजी आने के बाद अब स्मॉलकैप और मिडकैप के लिए रिस्क-रिवॉर्ड उतना आकर्षक नहीं दिख रहा है। वर्तमान में लार्जकैप सेगमेंट ज्यादा अच्छा और सुरक्षित लग रहा है। नकदी की अधिकता से आई रैली के कारण स्मॉलकैप और मिडकैप शेयरों का वैल्यूएशन भी बढ़ गया है। हालांकि यह अभी भी 2021 के अंत के पिछले हाई से कम है।
इस बातचीत में संपत रेड्डी ने आगे कहा कि वे बैंकिंग सेक्टर को लेकर पॉजिटिव हैं। यह सेक्टर भारत की लॉन्ग टर्म स्टोरी के साथ जुड़ा हुआ है। बैंक सेक्टर में कर्ज की मांग में मजबूती देखने को मिल रही है। मार्जिन और एसेट क्वालिटी में भी काफी सुधार हुआ है। ऐसे में बैंक शेयर निवेश के लिए अच्छे दिख रहे हैं।
भारतीय बाजार का वैल्यूएशन हालिया रैली के साथ बढ़ा है, लेकिन अभी भी ये 2021 के अंत के हाई से कम है। ऐसे में इस समय बाजार का लार्जकैप सेगमेंट बहुत महंगा नहीं हुआ है। हालांकि वैल्यूशन लॉन्ग टर्म एवरेज ऊपर है। यह अनुमान लगाना कठिन है कि बाजार में करेक्शन कब होगा। लेकिन शॉर्ट टर्म में इक्विटी से मिलने वाला रिटर्न मध्यम रहने की ही उम्मीद है। हालांकि लॉन्ग टर्म के नजरिए से भारत का ग्रोथ स्टोरी काफी मजबूत है।
डिस्क्लेमर: मनीकंट्रोल.कॉम पर दिए गए विचार एक्सपर्ट के अपने निजी विचार होते हैं। वेबसाइट या मैनेजमेंट इसके लिए उत्तरदाई नहीं है। यूजर्स को मनी कंट्रोल की सलाह है कि कोई भी निवेश निर्णय लेने से पहले सर्टिफाइड एक्सपर्ट की सलाह लें।