हाल की बाजार की गिरावट ने बाजार का सेंटिमेंट खराब कर दिया है। निवेशकों का मन मायूस हुआ लेकिन आज की तेजी ने बाजार में जोश भर दिया है। इसका बड़ा कारण हाल में आई BIG BROKERAGE REPORTS भी हैं। आइए देखते हैं HSBC, सिटी, GOLDMAN SACHS और CLSA का भारत पर क्या नजरिया है। सबसे पहले जान लेते है कि इन रिपोर्ट का मुख्य सार यही है कि बुल अभी जिंदा है और जल्द ही फिर हुंकार भरता नजर आएगा। निफ्टी पर ब्रोकरेज के लक्ष्य की बात करें तो सिटी का कहना है कि अगले 1 साल में निफ्टी में 25,000 का लक्ष्य संभव है। वहीं, Goldman Sachs का कहना है कि अगले 1 साल में निफ्टी 27000 का स्तर छूता दिखेगा।
वहीं, HSBC का कहना है कि दिसंबर 2025 तक सेंसेक्स 90520 का लक्ष्य हासिल कर सकता है। HSBC का कहना है कि भारत में दम है। ये दुनिया में सबसे तेज ग्रोथ वाला देश है। HSBC का कहना है कि स्मॉलकैप में 30 फीसदी, मिडकैप में 30 फीसदी और लार्जकैप में 12 फीसदी अर्निंग ग्रोथ संभव है। इसके साथ ही HSBC ने बाजार के रिस्क फैक्टर भी गिनाए हैं। ब्रोकरेज का कहना है कि वैल्युशन महंगे होने के चलते बाजार में डाउनग्रेड का खतरा है। ग्रोथ को झटका लगा तो डी-रेटिंग भी संभव है।
सिटी: बाजार में दिखेगी रफ्तार
सिटी का कहना है कि आगे बाजार में रफ्तार दिखेगी। 10 फीसदी करेक्शन के बाद वैल्युएशन आकर्षक हो गए हैं। निफ्टी का P/E 5 साल के औसत से थोड़ा ऊपर है। दूसरी छमाही में रिकवरी की उम्मीद है। आगे सरकारी खर्च और रूरल मांग में सुधार की उम्मीद है। सिटी सीमेंट, फाइनेंशियल, टेलीकॉम और फार्मा सेक्टर को लेकर बुलिश है। साथ ही उसका यह भी कहना है कि कंज्यूमर, IT और मेटल शेयरों को लेकर सतर्क रहने की जरूरत है।
GOLDMAN SACHS और CLSA का भारत पर नजरिया
GOLDMAN SACHS का कहना है कि अगले 3 महीने में निफ्टी में 24000 का स्तर देखने को मिल सकता है। वहीं, 2025 के अंत तक निफ्टी 27,000 का स्तर छू सकता है। GOLDMAN SACHS एक्सपोर्ट, IT और फार्मा पर बुलिश है। उसका कहना है कि इन सेक्टरों को कमजोर रुपए से फायदा मिलेगा। इसके अलावा एग्रीकल्चर, डिफेंस,टूरिज्म और हाउसिंग शेयर भी उसको पसंद हैं।
CLSA: सबसे आगे हिंदुस्तानी
CLSA का कहना है कि उसको चीन के मुकाबले भारत पसंद है। CLSA ने भारत पर 20 फीसदी ओवरवेट बढ़ाया है।
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