Icodex IPO Listing: रिसर्च पेपर और एकेडमिक कंटेंट को लेकर सॉफ्टवेयर सर्विसेज मुहैया कराने वाली आईकोडेक्स पब्लिशिंग सॉल्यूशंस के शेयरों की आज बीएसई एसएमई पर भारी डिस्काउंट पर एंट्री हुई। इसके आईपीओ को ओवरऑल 3 गुना से अधिक बोली मिली थी। आईपीओ के तहत ₹102 के भाव पर शेयर जारी हुए हैं। आज BSE SME पर इसकी ₹81.60 पर एंट्री हुई है यानी कि आईपीओ निवेशकों को कोई लिस्टिंग गेन नहीं मिला बल्कि लिस्टिंग पर 20% पूंजी ही घट गई। आईपीओ निवेशकों की और झटका तब लगा, जब शेयर टूट गए। टूटकर यह ₹77.55 (Icodex Share Price) के लोअर सर्किट पर आ गया और इसी पर बंद भी हुआ यानी कि पहले कारोबारी दिन की समाप्ति पर आईपीओ निवेशक 23.97% घाटे में हैं।
Icodex IPO के पैसे कैसे होंगे खर्च
आईकोडेक्स का ₹42.03 करोड़ का आईपीओ सब्सक्रिप्शन के लिए 11-13 अगस्त तक खुला था। इस आईपीओ को निवेशकों का अच्छा रिस्पांस मिला था और ओवरऑल यह 3.95 गुना सब्सक्राइब हुआ था। इसमें क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बायर्स (QIB) के लिए आरक्षित हिस्सा 33.08 गुना, नॉन-इंस्टीट्यूशनल इनवेस्टर्स (NII) का हिस्सा 1.58 गुना और खुदरा निवेशकों का हिस्सा 4.67 गुना भरा था। इस आईपीओ के तहत ₹34.64 करोड़ के नए शेयर जारी हुए हैं। इसके अलावा ₹10 की फेस वैल्यू वाले 7,24,800 शेयर ऑफर फॉर सेल विंडो के तहत बिके हैं। ऑफर फॉर सेल का पैसा तो शेयर बेचने वाले शेयरहोल्डर्स को मिला है। वहीं नए शेयरों के जरिए जुटाए गए पैसों में से ₹16.70 करोड़ नए ऑफिस की खरीदारी, ₹1.12 करोड़ नए ऑफिस के लिए हार्डवेयर की खरीदारी, ₹5.20 करोड़ वर्किंग कैपिटल की जरूरतों और बाकी पैसे आम कॉरपोरेट उद्देश्यों पर खर्च होंगे।
Icodex Publishing Solutions के बारे में
वर्ष 2018 में बनी आईकोडेक्स पब्लिशिंग सॉल्यूशंस स्कॉलरी पब्लिशिंग के लिए सॉफ्टवेयर प्रोडक्ट डेवलपमेंट के बिजनेस में है। यह रिसर्च पेपर और एकेडमिक आर्टिकल को लेकर सॉफ्टवेयर प्रोडक्ट्स डेवलप करती है। यह मैनुस्क्रिप्ट की तैयारी से लेकर उसे प्रिंट करने और डिजिटल कंटेट तैयार करने के प्रोसेस में काम करती है। यह क्वालिटी चेक और एडिटोरियल सपोर्ट जैसे बिजनेस प्रोसेस मैनेजमेंट सर्विसेज के साथ-साथ हार्डवेयर इंस्टॉलेशन और बैक-एंड सपोर्ट सपोर्ट जैसे आईटी सर्विसेज मुहैया कराती है।
कंपनी के वित्तीय सेहत की बात करें तो यह लगातार मजबूत हुई है। वित्त वर्ष 2023 में इसे ₹1.81 करोड़ का शुद्ध मुनाफा हुआ था जो अगले वित्त वर्ष 2024 में उछलकर ₹4.40 करोड़ और वित्त वर्ष 2025 में ₹8.96 करोड़ पर पहुंच गया। इस दौरान कंपनी का रेवेन्यू सालाना 50% से अधिक की चक्रवृद्धि दर (CAGR) से बढ़कर ₹22.08 करोड़ पर पहुंच गया। हालांकि इस दौरान कंपनी पर कर्ज भी लगातार बढ़ा जोकि वित्त वर्ष 2023 के आखिरी में ₹2 लाख और वित्त वर्ष 2024 के आखिरी में ₹88 लाख से बढ़कर वित्त वर्ष 2025 के आखिरी में ₹2.99 करोड़ पर पहुंच गया।
डिस्क्लेमर: यहां मुहैया जानकारी सिर्फ सूचना के लिए दी जा रही है। यहां बताना जरूरी है कि मार्केट में निवेश बाजार जोखिमों के अधीन है। निवेशक के तौर पर पैसा लगाने से पहले हमेशा एक्सपर्ट से सलाह लें। मनीकंट्रोल की तरफ से किसी को भी पैसा लगाने की यहां कभी भी सलाह नहीं दी जाती है।