फेमस वेब सीरीज स्कैम 1992 का एक फेमस डायलॉग है कि शेयर मार्केट इतना गहरा कूआं है जो पूरे देश की प्यास बुझा सकता है। लेकिन शेयर मार्केट के इस गहरे कूएं से पानी निकालने के लिए आपको जिस बाल्टी की सबसे ज्यादा जरूरत होती है उसे डीमैट अकाउंट (Demat Account) कहते हैं। यानी कि शेयर मार्केट में इनवेस्टमेंट शुरू करने के लिए सबसे पहला कदम है डी-मैट अकाउंट खोलना। कई सारे लोग जो शेय़र मार्केट में इनवेस्टमेंट शुरू करना चाहते हैं उनको डीमैट अकाउंट कैसे ओपन करें इस बारे में जानकारी नहीं होती है। तो आइये जानते डीमैट अकाउंट और इसे ओपन करने के पूरे प्रोसेस के बारे में।
शेयर मार्केट में इनवेस्टमेंट के लिए चाहिए होता है Demat Account
डी मैट अकाउंट (Demat Account) का पूरा नाम डीमैटरियलाइज्ट अकाउंट है। यह एक नॉर्मल सेविंग अकाउंट की तरह से ही होता है। जैसे एक डी-मैट अकाउंट हमारे पैसों को बैंक में सेफ रखता है ठीक उसी तरह से डीमैट अकाउंट भी इलेक्ट्रॉनिक फॉर्म के जरिए शेयरों और सिक्योरिटीज को रखने की सुविधा देता है। डीमैट अकाउंट फिजिकल शेयरों को डीमैटरियलाइज्ड तरीके से स्टोर करता है। फिजिकल शेयरों को इलेक्ट्रॉनिक फॉर्म में बदलने के प्रोसेस को डीमैटेरियलाइजेशन कहा जाता है। ट्रेडिंग के वक्त इन शोयरों को डीमैट अकाउंट के जरिए ही डेबिट क्रेडिट किया जाता है।
चार तरह के होते हैं Demat Account
बता दें कि डीमैट अकाउंट (Demat Account) चार तरह के होते हैं। डीमैट अकाउंट ओपन करते वक्त इनवेस्टर्स को अपनी प्रोफाइल के अनुसार ही डीमैट अकाउंट को चुनना चाहिए। आप केवल कुछ ही मिनटों में अपना डी-मैट अकाउंट खोल सकते हैं और शेयर मार्केट में ट्रेडिंग शुरू कर सकते हैं। आइये जान लेते हैं अलग अलग तरह के डीमैट अकाउंट के बारे में।
यह डीमैट अकाउंट ऐसे इनवेस्टर्स के लिए है जो कि केवल शेयरों को खरीदना और बेचना चाहते हैं और सिक्योरिटीज को डिपॉजिट करना चाहते हैं। जब भी आप शेयर बेंचेंगे तो यह आपके अकाउंट से डेबिट हो जाएगा और जब भी आप शेयर खरीदेंगें तो यह आपके अकाउंट में क्रेडिट कर दिया जाएगा।
बेसिक सर्विस Demat Account
यह एक नए तरह का डी-मैट अकाउंट है जिसे मार्केट रेगुलेटर सेबी ने पेश किया है। इस अकाउंट को छोटे निवेशकों को ध्यान में रखकर शुरू किया गया है।
रिपैट्रिएबल Demat Account
रिपैट्रिएबल डीमैट अकाउंट भारत से बाहर रहने वाले लोगों यानी NRI के लिए है। इस अकाउंट के जरिए ऐसे लोग भारतीय शेयर मार्केट में इनवेस्टमेंट शुरू कर सकते हैं। हालांकि फंड ट्रांसफर करने के लिए इस अकाउंट को NRI अकाउंट से जोड़ना होता है।
नॉन-रिपैट्रिएबल Demat Account
यह अकाउंट भी NRI के लिए है। हालांकि इस अकाउंट के जरिए विदेशों में पैसा ट्रांसफर नहीं किया जा सकता है।
कैसे ओपन कर सकते हैं Demat Account
आप अपने बैंक या फिर किसी ब्रोकरेज फर्म के जरिए डी-मैच अकाउंट ओपन कर सकते हैं। डीमैट अकाउंट को ओपन करने के लिए सबसे पहले आपको एक डिपॉजिटरी पार्टिसिपेंट (DP) को चुनना होता है। यह कोई बैंक या फिर ब्रोकर हो सकता है। डीमैट अकाउंट खोलते वक्त ब्रोकरेज चार्ज, सालाना चार्ज और लीवरेज पर ध्यान देना भी बहुत जरूरी है। साथ ही डी-मैट अकाउंट को ओपन करने के लिए आपको केवाईसी फॉर्म को भी बरना होगा और जमा करना होगा। साथ ही आपको पैन कार्ड, रेजिडेंस प्रूफ, आईडी प्रूफ और पासपोर्ट साइज की फोटो भी सबमिट करनी होगी। साथ ही आपको बैंक डिटेल के साथ साथ एक कैंसल चेक भी जमा करना होगा। इसके बाद आपको एक एग्रीमेंट भी साइन करना होगा। मौजूदा वक्त में कई सारे बैंक ऑनलाइन तरीके से डीमैट अकाउंट को ओपन करने की सुविधा देते हैं।
क्या हैं डीमैट अकाउंट के फायदे
डीमैट अकाउंट (Demat Account) बिना किसी दिक्कत के शेयरों को तेजी से ट्रांसफर करने की सर्विस देता है। डीमैट अकाउंट के जरिए ही शेयर बाजार में इनवेस्टमेंट की जा सकती है और ये हमारे शेयरों को सेफ भी रखता है। डीमैट अकाउंट के जरिए ट्रेडिंग एक्टिविटीज को आसानी से ट्रैक भी कर सकते हैं। इसे कहीं से भी और कभी भी एक्सेस किया जा सकता है।