19 अगस्त को खत्म हुए हफ्ते में इक्विटी मार्केट हल्की बढ़त के साथ हुआ और निफ्टी की बढ़त लगातार 5वें हफ्ते भी कायम रही। FII की तरफ से हो रही खरीदारी के चलते बाजार को सपोर्ट मिला। पिछले हफ्ते Sensex 183.37 अंक यानी 0.30 फीसदी की बढ़त के साथ 59646.15 के स्तर पर बंद हुआ। वहीं, निफ्टी 60.50 अंक यानी 0.34 फीसदी की बढ़त के साथ 17758.5 के स्तर पर बंद हुआ।
आइए एक्सपर्ट्स से जानते हैं कि इस हफ्ते कैसी रह सकती है बाजार की चाल
Religare Broking के अजित मिश्रा का कहना है कि इस हफ्ते डेरिवेटिव्स की एक्सपायरी बाजार में भाग लेने वाले लोगों को काफी व्यस्त रखेगी। भारतीय बाजार में आने वाला विदेशी निवेश और ग्लोबल खासकर अमेरिकी बाजार से मिलने वाले संकेतों पर बाजार की नजर रहेगी। लगातार 5 हफ्तों की तेजी के बाद बाजार में अब कंसोलिडेशन देखने को मिल सकता है। यह एक हेल्दी कंसोलिडेशन होगा। हाल के कंसोलिडेशन के दौर में हमें बाजार में कोई बड़ी गिरावट देखने को मिली है। हालांकि हमारे बाजारों की चाल काफी हद तक अमेरिकी बाजारों से मिलने वाले संकेतों पर निर्भर करेंगे। अमेरिकी बाजारों में अभी हमें और तेजी के संकेत नजर आ रहे हैं। हमारा अनुमान है कि इस हफ्ते के दौरान निफ्टी के लिए 17300-17600 के जोन में अच्छा सपोर्ट रहेगा जबकि 17850-18100 के आसपास रजिस्टेंस है । इस लेवल के आसपास हमें मुनाफावसूली देखने को मिल सकती है।
Sharekhan के गौरव रत्नपारखी का कहना है कि पिछले कुछ कारोबारी सत्रों से निफ्टी अक्टूबर 2021 से जून 2022 के बीच आई गिरावट के 78.6 फीसदी रिस्ट्रेसमेंट और 18000 के स्तर के बीच ट्रेड कर रहा है। अब इंडेक्स एक शॉर्ट टर्म कंसोलिडेशन के दौर में जाता दिख रहा है। बीते हफ्ते निफ्टी ने अक्टूबर 2021 के हाई से खिंची फॉलिंग ट्रेंड लाइन को पार कर लिया है और एक बार फिर इसको छूने के लिए ट्रेड लाइन की तरफ वापस आता भी दिखा है। ऐसे में शॉर्ट टर्म में निफ्टी हमें 17700-18000 के बीच कंसोलिडेट होता नजर आ सकता है।
Samco Securities की अपूर्वा सेठ का कहना है कि इस हफ्ते में दलाल स्ट्रीट का फोकस मैक्रो ट्रेंडस पर रहेगा क्योंकि नतीजों का मौसम लगभग समाप्त हो गया है। इसके अलावा कोई बड़ा मैक्रो इकोनॉमिक इवेंट भी नहीं होने वाला है। ऐसे में इस हफ्ते बाजार का फोकस एफआईआई से जुड़े आंकड़ों और ब्रेंट क्रूड पर होगा।
अगस्त महीने में अब तक एफआईआई ने 18500 करोड़ रुपये की खरीदारी की है। बाजार की अब तक की रैली में एफआईआई का सबसे बड़ा योगदान रहा है। बाजार की नजर एफआईआई के रुख पर लगी रहेगी। अगर एफआईआई के ट्रेड में कोई बदलाव आता है तो बाजार में गिरावट देखने को मिल सकती है।
Angel One के समीत चव्हाण का कहना है कि इस हफ्ते के पहले आधे भाग में 17800–17875 की तरफ आने वाले किसी भी उछाल में हमें बिकवाली देखने को मिल सकती है। ऐसे में ट्रेडर्स को सलाह होगी कि वह उछाल में अपनी पोजिशन हल्की करें और कुछ समय तक साइडलाइन बने रहें। एग्रेसिव ट्रेडर 18000 के स्टॉपलॉस के साथ निफ्टी में बिकवाली के सौदे ले सकते हैं। अगर ग्लोबल बाजार में कोई परेशानी आती है तो निफ्टी हमें 17600-17450 की तरफ आता नजर आ सकता है।
समीत चव्हाण का यह भी मानना है कि बाजार का ओवर ऑल ट्रेंड अभी भी काफी मजबूत बना हुआ है लेकिन 16400 के स्तर से निफ्टी में काफी तेज रैली देखने को मिली है। ऐसे में इस हफ्ते में मुनाफावसूली की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता है। लेकिन हमारी यह बात तभी तक सही साबित होगी जब तक निफ्टी मजबूती के साथ 18000 का स्तर नहीं तोड़ पाता। अगर इस बीच निफ्टी ने 18000 का स्तर तोड़ दिया और ऊपर की तरफ मजबूती दिखाई तो यह तेजी और बढ़ सकती है। उन्होंने यह भी कहा कि अगर वर्तमान स्तरों से कोई गिरावट आती भी है तो यह बाजार के लिए अच्छा होगा क्योंकि इस कंसोलिडेशन के बाद बाजार अगली रैली के लिए तैयार होगा। ऐसे में ट्रेडरों को चुनिंदा शेयरों पर फोकस करने की सलाह होगी।
Kotak Securities के अमोल आठवले ने कहा कि तकनीकी रूप से निफ्टी में 18000 के स्तर के पास मुनाफावसूली दिखी है। जबकि डेली चार्ट पर इंडेक्स ने एक लंबा बियरिश कैंडल बनाया। इसने 17850 के अहम सपोर्ट स्तर को भी तोड़ दिया जो मोटे तौर पर निगेटिव साबित हुआ। इसके अलावा निफ्टी ने हैमर कैंडलस्टिक फॉर्मेशन भी बनाया है। इससे निकट भविष्य में और कमजोरी के संकेत मिलते हैं। इससे 17900 से नीचे करेक्शन फॉर्मेशन जारी रहने की संभावना है। यह 17600-17500 के स्तर तक फिर से फिसल सकता है।
वहीं दूसरी तरफ निफ्टी में तेजी आने पर 17900 - 17950 का लेवल बुल्स के लिए तत्काल रेजिस्टेंस होगा। इसमें एक ताजा अपट्रेंड तभी संभव है जब इंडेक्स 17950 के रेजिस्टेंस को पार करता है। ऐसा हुआ तब इसमें 18050-18150 के स्तर देखने को मिल सकते हैं।
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