Share markets : 22 अक्टूबर को निफ्टी 24500 से नीचे कारोबार करता दिखा। अंत भारतीय इक्विटी इंडेक्स कमजोरी के साथ बंद हुए। कारोबारी सत्र के अंत में सेंसेक्स 930.55 अंक या 1.15 फीसदी की गिरावट के साथ 80,220.72 पर और निफ्टी 309.00 अंक या 1.25 फीसदी की गिरावट के साथ 24,472.10 पर बंद हुआ। लगभग 553 शेयरों में तेजी आई, 3264 शेयरों में गिरावट आई और 72 शेयरों में कोई बदलाव नहीं हुआ। निफ्टी पर अडानी एंटरप्राइजेज, एमएंडएम, भारत इलेक्ट्रॉनिक्स, कोल इंडिया, टाटा स्टील सबसे ज्यादा गिरने वाले शेयरों में शामिल रहे। जबकि आईसीआईसीआई बैंक, नेस्ले इंडिया, इंफोसिस में बढ़त देखने को मिली।
ऑटो, कैपिटल गुड्स, मेटल, पावर, रियल्टी, टेलीकॉम, मीडिया और पीएसयू बैंक के साथ सभी सेक्टोरल इंडेक्स लाल निशान में बंद हुए। बीएसई मिडकैप इंडेक्स में 2.5 फीसदी और स्मॉलकैप इंडेक्स में 3.8 फीसदी की गिरावट आई।
23 अक्तूबर को कैसी रह सकती है बाजार की चाल
प्रोग्रेसिव शेयर्स के निदेशक आदित्य गग्गर का कहना है कि मिड और स्मॉलकैप सेगमेंट में आज भारी दबाव रहा। बिना किसी पुलबैक मूव के इंडेक्स पूरे दिन दबाव में रहा। अंत में निफ्टी 309 अंकों के नुकसान के साथ 24,472.10 पर बंद हुआ। सभी सेक्टर लाल निशान पर बंद हुए। जहां पीएसयू बैंक और रियल्टी सबसे ज्यादा पिटे। बाजार की कमजोर कड़ी यानी मिड और स्मॉलकैप में 2.61 फीसदी और 3.92 फीसदी की गिरावट आई। इन्होंने फ्रंटलाइन इंडेक्स से कमतर प्रदर्शन किया।
लोअर हाई और लोअर लो के क्रम में निफ्टी ने एक और बियरिश कैंडल बनाई है जो बाजार पर मंदड़ियों के पकड़ के मजबूत होने का संकेत है। मिड और स्मॉलकैप सेगमेंट में ओवरसोल्ड स्थितियों को देखते हुए, बाजारों में शॉर्ट टर्म उछाल की उम्मीद की जा सकती है जो निफ्टी को ऊपर ले जा सकती है। लेकिन ऊपर की ओर भी ये तेजी 24,670 तक सीमित लगती है। जबकि दूसरी तरफ निफ्टी के लिए 24,370-24,430 के जोन में सपोर्ट दिख रहा है।
एंजेल ब्रोकिंग के राजेश भोसले का कहना है कि अगर निफ्टी 24700 से ऊपर बंद होता है तो बाजार रुख बदलने का पहला संकेत मिलेगा। तब तक बाजार में वेट एंड वॉच की रणनीति रहेगी।
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