Pakistan News: पाकिस्तान के गृह मंत्री मोहसिन नकवी ने ऐलान किया है कि अमेरिका, ब्रिटेन और कनाडा से आने वाले सिख श्रद्धालुओं को 30 मिनट के भीतर फ्री ऑनलाइन वीजा दिया जाएगा। नकवी की यह टिप्पणी गुरुवार (2 नवंबर) को लाहौर में सिख तीर्थयात्रियों के 44 सदस्यीय विदेशी प्रतिनिधिमंडल से मुलाकात के बाद आई है। गृह मंत्रालय की ओर से जारी एक बयान के अनुसार, गृह मंत्री नकवी ने सिख तीर्थयात्रियों का गर्मजोशी से स्वागत किया। उन्होंने स्वीकार किया कि अतीत में सिख तीर्थयात्रियों को पाकिस्तान की यात्रा के दौरान कठिनाइयों का सामना करना पड़ता था।
नकवी ने कहा कि सरकार ने सिखों के लिए वीजा प्रक्रिया को ऑनलाइन करके आसान बना दिया है। पीटीआई के मुताबिक, उन्होंने कहा कि अमेरिका, कनाडा और ब्रिटेन के पासपोर्ट धारक ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। इसके बाद वह बिना किसी शुल्क के 30 मिनट के भीतर अपना वीजा प्राप्त कर सकते हैं।
उन्होंने कहा कि यह सुविधा इन देशों में रहने वाले भारतीय मूल के सिखों को भी मिलेगी। मंत्री ने कहा कि सिख समुदाय को और अधिक सुविधाएं प्रदान करना उनकी सरकार की प्राथमिकता है। उन्होंने घोषणा की है कि पाकिस्तान में कई सिख विरासत स्थलों को दर्शन के लिए खोला जाएगा। उन्होंने कहा कि इसके लिए किसी भी परमिट की आवश्यकता नहीं होगी।
नकवी ने युवा पीढ़ी को आकर्षित करने पर विशेष जोर देते हुए पाकिस्तान आने वाले सिख तीर्थयात्रियों की संख्या सालाना एक लाख से बढ़ाकर 10 लाख करने की इच्छा व्यक्त की। नकवी ने यह भी उल्लेख किया कि पाकिस्तान सरकार ने 124 देशों के नागरिकों के लिए फ्री वीजा की सुविधा शुरू की है।
दरअसल, पाकिस्तान ने इस नीति में यह बदलाव पर्यटन और निवेश को बढ़ावा देने के लिए उसकी व्यापक पहल का हिस्सा है। 14 अगस्त 2024 से 124 देशों के नागरिकों के लिए वीजा शुल्क पूरी तरह से माफ कर दिया गया है।
NAPA ने फैसले का किया स्वागत
पाकिस्तान सरकार द्वारा अमेरिका, यूनाइटेड किंगडम और कनाडा के सिख तीर्थयात्रियों को मुफ्त ऑनलाइन वीजा देने के फैसले का उत्तरी अमेरिकी पंजाबी एसोसिएशन (NAPA) ने स्वागत किया है। NAPA के एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर सतनाम सिंह चहल ने इस पहल की तारीफ करते हुए कहा कि यह सिख प्रवासियों के लिए वीजा आवेदन प्रक्रिया को बहुत सरल बनाता है। चहल ने पाकिस्तान और भारत दोनों से सीमा पार व्यापार के लिए वाघा सीमा को फिर से खोलने का आह्वान भी किया।
उन्होंने कहा, "माल की निर्बाध आवाजाही से दोनों पक्षों के व्यापारी और व्यवसाय सीधे जुड़ सकेंगे, जिससे लंबे शिपिंग मार्गों और रसद से जुड़ी लागत कम होगी।" उन्होंने स्थानीय उद्योगों को पुनर्जीवित करने, रोजगार सृजन और दोनों देशों में लाखों लोगों के लिए समृद्धि बढ़ाने सहित आर्थिक लाभों को रेखांकित किया।
चहल ने आगे बताया कि वाघा के जरिए व्यापार से उपभोक्ताओं को प्रतिस्पर्धी कीमतों पर ज्यादा किस्म के सामान मिलेंगे। साथ ही कपड़ा, मसाले, कृषि उत्पाद और मशीनरी जैसे अनूठे उत्पादों तक उनकी पहुंच बढ़ेगी। उन्होंने कहा, "एक-दूसरे के बाजारों तक ज्यादा पहुंच के साथ, व्यापार संतुलन अधिक न्यायसंगत हो सकता है। इससे दोनों देशों की अर्थव्यवस्थाओं को फायदा होगा।"