Twitter lay off: Twitter 28 अक्टूबर को Elon Musk की हो गई। इसके बाद Tesla के सीईओ ने बड़ी संख्या में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के एंप्लॉयीज को नौकरी से हटा दिया है। इनमें अमेरिका से लेकर इंडिया तक के एंप्लॉयीज शामिल हैं। 5 नवंबर को मस्क ने कर्मचारियों की छंटनी के कदम पर सफाई दी है।
Musk ने इस बारे में ट्वीट किया है। उन्होंने कहा है कि कंपनी के पास एंप्लॉयीज को नौकरी से हटाने के अलावा दूसरा कोई रास्ता नहीं था। उन्होंने कंपनी को रोजाना होने वाले नुकसान के बारे में बताया है। उनके मुताबिक, ट्विटर को रोजाना 40 लाख डॉलर से ज्यादा लॉस हो रहा था।
Tesla के सीईओ ने कहा है कि कंपनी से हटाए गए हर एंप्लॉयी को तीन महीने की सैलरी दी गई है। यह कानूनी शर्त के मुकाबले 50 फीसदी ज्यादा है। पहले से उम्मीद की जा रही थी कि मस्क के हाथ में आने के बाद ट्विटर में कुछ छंटनी हो सकती है। लेकिन, इतनी ज्यादा संख्या में एंप्लॉयीज को निकालने की उम्मीद नहीं थी। यह भी उम्मीद नहीं थी कि मस्क इतनी जल्दी यह फैसला लेंगे।
बताया जाता है कि ट्विटर के करीब 50 फीसदी एंप्लॉयीज को नौकरी से हटा दिया गया है। इंडिया में तो इसके दो-तिहाई एंप्लॉयीज को रिजाइन करने को कहा गया है। इंडिया में ट्विटर के 230 एंप्लॉयीज हैं, जिनमें से करीब 180 को नौकरी से रिजाइन करने को कहा गया है। कंपनी ने कंटेंट, पार्टनरशिप, कंटेंट क्यूरेशन, सेल्स और सोशल मार्केटिंग टीम में यह छंटनी की है।
सूत्रों का कहना है कि कई कर्मचारियों को तो नींद खुलते ही यह बुरी खबर मिली। खासकर इंडिया में एंप्लॉयीज को सुबह ही नौकरी जाने की खबर मिल गई। कुछ एंप्लॉयीज को यह बताया गया है कि फिलहाल उन्हें नौकरी पर बनाए रखा गया है। उनके रोल और फंक्शंस के बारे में कंपनी बाद में फैसला लेगी।
इंडिया में जिन लोगों को नौकरी में बनाए रखा गया है, उनमें से ज्यादातर मेंटेनेंस जैसे जरूरी ऑपरेशन से जुड़े हैं। ट्टिवर के नए मालिक का यह फैसला कॉर्पोरेट वर्ल्ड को पसंद नहीं आया है। दुनिया की कई दिग्गज कंपनियों ने इस सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपना ऐड नहीं देने का फैसला किया है।
United Airlines Holdings ने कहा है कि वह इस सोशल मीडिया साइट पर ऐड नहीं देगी। इससे पहले कई दिग्गज कंपनियां ट्विटर पर अपना विज्ञापन नहीं करने का फैसला कर चुकी हैं। यूनाइटेड एयरलाइंस की प्रवक्ता ने शुक्रवार को ट्विटर पर ऐड नहीं करने के फैसले की पुष्टि कर दी।
इससे पहले जनरल मिल्स और Audi जैसी दिग्गज कंपनियां ऐसा फैसला ले चुकी हैं। इन कंपनियों ने गुरुवार को कहा था कि उन्होंने ट्विटर पर विज्ञापन नहीं करने का फैसला किया है। Audi लग्जरी कार बनाने वाली दुनिया की सबसे बड़ी कंपनियों में से एक है।