कई बार क्रेडिट कार्ड पर ज्यादा बैलेंस सिरदर्द बन जाता है। क्रेडिट कार्ड के बैलेंस का सीधा संबंध कार्ड की यूटिलाइजेशन लिमिट से है। अगर ज्यादा बैलेंस की वजह से यूटिलाइजेशन रेशियो बढ़ गया है तो इसका असर आपके क्रेडिट स्कोर पर पड़ सकता है। इसलिए एक्सपर्ट्स यूजर्स को क्रेडिट कार्ड के इस्तेमाल के दौरान क्रेडिट लिमिट को ध्यान में रखने की सलाह देते हैं।
क्रेडिट यूटिलाइजेशन रेशियो का मतलब
अगर किसी यूजर के क्रेडिट कार्ड की लिमिट 2 लाख रुपये है। उसका क्रेडिट कार्ड बैलेंस 60,000 रुपये है तो उसका यूटिलाइजेशन करीब 30 फीसदी है। इसका उसके क्रेडिट स्कोर पर खराब असर नहीं पड़ेगा। लेकिन, अगर यह बैलेंस क्रेडिट कार्ड की 75,000 रुपये की लिमिट पर है तो फिर यह चिंता की बात है।
ज्यादा क्रेडिट यूटिलाइजेशन का नुकसान
क्रेडिट कार्ड का यूटिलाइजेशन रेशियो ज्यादा होने का मतलब है कि यूजर कर्ज के पैसे पर निर्भर करता है। एक्सपर्ट्स यूजर को क्रेडिट कार्ड की कुल लिमिट का 30 फीसदी तक इस्तेमाल करने की सलाह देते हैं। कई बार बिल का पूरा पेमेंट नहीं करने की आदत यूजर पर भारी पड़ जाती है।
मिनिमम पेमेंट की आदत से बढ़ता है रिस्क
क्रेडिट कार्ड का पूरा बिल चुकाने की जगह मिनिमम पेमेंट करने से तुरंत राहत मिल जाती है। लेकिन, लंबी अवधि में इसका खराब असर पड़ता है। इससे क्रेडिट कार्ड पर आपका बैलेंस बढ़ने लगता है। कई बार बैलेंस बढ़कर ऐसे लेवल पर पहुंच जाता है, जिसे चुकाना यूजर के लिए संभव नहीं होता। इससे उसके डिफॉल्ट करने का खतरा बढ़ जाता है।
क्रेडिट कार्ड बैलेंस बढ़ने को गंभीरता से लें
अगर आपका क्रेडिट कार्ड बैलेंस काफी ज्यादा बढ़ गया है तो आपको सावधान हो जाने की जरूरत है। आपको इसे घटाने का ठोस प्लान बनाना होगा। आपकी पहली कोशिश यूटिलाइजेशन रेशियो को 30 फीसदी तक या इससे नीचे लाने की होनी चाहिए। ऐसा 2-3 दिन में नहीं हो सकता। इसमें थोड़ा समय लगेगा। इस बीच आपको धैर्य बनाए रखना होगा। थोड़ी सी लापरवाही से डिफॉल्ट का खतरा बढ़ जाएगा। फिर, आपका क्रेडिट स्कोर काफी खराब हो जाएगा।
बैलेंस घटाने के लिए बनाएं ठोस प्लान
क्रेडिट कार्ड बैलेंस काफी बढ़ जाने पर कुछ समय के लिए क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल आपको रोकना होगा। आप बैलेंस अमाउंट को दो या तीन बार में पेमेंट कर सकते हैं। अगर आपके किसी बैंक सेविंग्स अकाउंट में कुछ पैसा पड़ा है, जिसकी आपको तुरंत जरूरत नहीं है तो उसका इस्तेमाल बैलेंस पेमेंट के लिए आप कर सकते हैं। मान लीजिए आपके कार्ड पर बैलेंस 60,000 रुपये तक पहुंच गया है, जिसे चुकाने में आपको मुश्किल आ रही है। इस पैसे को 20,000 रुपये की तीन किस्तों में चुका सकते हैं।
डिफॉल्ट होने पर खराब होगा क्रेडिट स्कोर
क्रेडिट कार्ड का बैलेंस किस्तों में चुकाने पर आपको इंटरेस्ट के रूप में कुछ पैसा खर्च करना पड़ सकता है। लेकिन, इससे आप डिफॉल्ट से बच जाएंगे। डिफॉल्ट होने पर आपका क्रेडिट स्कोर खराब हो जाएगा। इससे भविष्य में बैंक या एनबीएफसी आपके लोन का अप्लिकेशन रिजेक्ट कर सकते हैं। अगर कोई एनबीएफसी आपको लोन देने के लिए तैयार होती है तो वह आपके ज्यादा इंटरेस्ट रेट लेना चाहेगी।