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खाली पड़े प्लॉट्स पर गिरेगी गाज, नहीं बनाया मकान तो हाथ से चली जाएगी जमीन

Noida Property: अगर आपने नोएडा में कोई प्लॉट लेकर सालों से खाली छोड़ रखा है, तो अलर्ट हो जाइए। नोएडा अथॉरिटी ने अब ऐसे प्लॉट मालिकों पर सख्त कार्रवाई करने का फैसला लिया है जिन्होंने कई सालों से अपने प्लॉट पर कोई कंस्ट्रक्शन नहीं कराया है

अपडेटेड Oct 06, 2025 पर 8:26 PM
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Noida Property: अगर आपने नोएडा में कोई प्लॉट लेकर सालों से खाली छोड़ रखा है, तो अलर्ट हो जाइए।

Noida Property: अगर आपने नोएडा में कोई प्लॉट लेकर सालों से खाली छोड़ रखा है, तो अलर्ट हो जाइए। नोएडा अथॉरिटी ने अब ऐसे प्लॉट मालिकों पर सख्त कार्रवाई करने का फैसला लिया है जिन्होंने कई सालों से अपने प्लॉट पर कोई कंस्ट्रक्शन नहीं कराया है। न ही घर बनाने का कोई इरादा दिखाया है।

12 साल तक कुछ नहीं किया, कैंसिल हो जाएगा अलॉटमेंट

नोएडा अथॉरिटी ने अपनी हाल ही में हुई 219वीं बोर्ड मीटिंग में यह बड़ा फैसला है। ऐसे लोग जो 12 साल के अंदर अपने प्लॉट पर मकान नहीं बना पाए हैं, उनका मालिकाना हर कैंसिल कर दिया जाएगा। यानी अब सिर्फ प्लॉट खरीदकर कीमत बढ़ने का इंतजार करने वालों का खेल खत्म होगा। अथॉरिटी का कहना है कि यह फैसला शहर की रिहायशी जरूरतों को ध्यान में रखकर लिया गया है ताकि खाली पड़ी जमीनों का सही इस्तेमाल हो सके।


जिन्होंने काम शुरू किया, उन्हें मिलेगी राहत

अथॉरिटी ने बताया कि जिन प्लॉट मालिकों ने अपने प्लॉट पर पहले से निर्माण का काम शुरू कर दिया है, उन्हें छह महीने का समय दिया जाएगा ताकि वे अपना मकान पूरा कर सकें। लेकिन जिन प्लॉट पर अभी तक कोई काम शुरू नहीं हुआ है, वहां अब कार्रवाई की जाएगी।

नोएडा अथॉरिटी के सीईओ के मुताबिक, शहर में कई सेक्टर ऐसे हैं जहां खाली प्लॉट न केवल इलाकों की सुंदरता पर असर करते हैं, बल्कि शहरी विकास की रफ्तार को भी धीमा करते हैं। अभी करीब 17 ऐसे प्लॉट को चिन्हित किए गए हैं, जिन पर न तो निर्माण हुआ है और न ही कंप्लीशन सर्टिफिकेट मिला है। इनमें से 9 प्लॉट्स पूरी तरह खाली हैं। पिछले एक साल से अथॉरिटी लगातार चेतावनी दे रही थी, अब सीधा एक्शन लेने की तैयारी है।

रिपोर्ट के मुताबिक, नोएडा में अब तक करीब 30,000 प्लॉट आवंटित किए गए हैं। इनमें से लगभग 1,500 प्लॉट पर ही आंशिक निर्माण हुआ है, जबकि बाकी या तो पूरी तरह खाली हैं या फिर मालिकों ने निवेश और सट्टेबाजी के मकसद से रोक रखे हैं। अथॉरिटी का कहना है कि ऐसे प्लॉट शहर की बढ़ती आबादी के लिए मकान उपलब्ध कराने में रुकावट बन रहे हैं।

नोएडा अथॉरिटी की बोर्ड मीटिंग में सिर्फ यह नहीं, बल्कि कई और अहम फैसले लिए गए। डिफॉल्टर बिल्डर्स को मिलने वाली ब्याज छूट को बंद करने का निर्णय हुआ और यूनिफाइड रेगुलेशंस 2025 को लागू किया गया। इस नियम के तहत अब नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना एक्सप्रेसवे क्षेत्रों के लिए जमीन आवंटन, स्वीकृति और पेमेंट का प्रोसेस एक जैसा होगा। इसके अलावा स्कूलों और कॉलेजों को नए प्लॉट आवंटन की मंजूरी भी दी गई।

बैठक में शहर के विकास से जुड़ी कई परियोजनाओं को हरी झंडी मिली। इनमें सेक्टर 145 में 300 टन प्रतिदिन क्षमता वाला सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट, सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट के लिए 86.67 करोड़ रुपये की स्वीकृति, यमुना और हिंडन नदियों से जुड़ी नालियों की सफाई, और नए पुलिस स्टेशन के लिए 4,000 वर्ग मीटर जमीन का आवंटन शामिल है।

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