प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस के मौके पर जीएसटी में अगली पीढ़ी के रिफॉर्म का ऐलान किया। 79वें इंडिपेंडेंस डे के मौके पर लाल किले के प्राचीर से देश को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने बताया कि 2017 में लागू जीएसटी सिस्टम से देश को कितना फायदा हुआ है। उन्होंने कहा कि जीएसटी में नेक्स्ट जेनरेशन रिफॉर्म्स से आम आदमी, किसान, मिडिल क्लास और एमएसएमई को फायदा होगा। सरकार इस साल अक्टूबर में इस रिफॉर्म्स के तहत जीएसटी रेट्स में कमी करने जा रही है। इससे कई जरूरी चीजों की कीमतें घट जाएंगी।
आत्मनिर्भर भारत के लिए जीएसटी में रिफॉर्म्स
सरकार 'आत्मनिर्भर भारत' को ध्यान में रख GST में बड़े बदलाव करने जा रही है। इसके तहत सरकार स्ट्रक्चरल रिफॉर्म्स करने जा रही है। दूसरा, कई आइटम्स पर जीएसटी के रेट घटने जा रहे हैं। तीसरा, जीएसटी सिस्टम में बदलाव से सरकार 'ईज ऑफ लिविंग' बढ़ाना चाहती है। सरकार ने इस बारे में ग्रुप ऑफ मिनिस्टर्स (GoM) को जीएसटी सिस्टम में रिफॉर्म्स और रेट्स में बदलाव के प्रस्ताव भेजे हैं। जीएसटी काउंसिल ने जीएसटी में रिफॉर्म्स के बारे में सुझाव देने के लिए GoM बनाया था।
जीएसटी में रिफॉर्म्स से बढ़ेगा ईज ऑफ डूइंग बिजनेस
मिनिस्ट्री ऑफ फाइनेंस ने 15 अगस्त को सोशल मीडिया X पर इस बारे में एक पोस्ट कर जीएसटी में रिफॉर्म्स के सरकार के प्लान के बारे में बताया है। इसमें कहा गया है कि रिफॉर्मस का मकसद आइटम्स के क्लासिफिकेशन से जुड़े विवादों में कमी लाना है। कुछ खास सेक्टर्स में सरकार इनवर्टेड ड्यूटी स्ट्रक्चर्स की प्रॉब्लम को खत्म करना चाहती है। सरकार जीएसटी के रेट्स में स्टैबिलिटी चाहती है। सरकार का मकसद इससे ईज ऑफ लिविंग को बढ़ाना है।
इकोनॉमी के कई सेक्टर्स की बढ़ेगी ग्रोथ
सरकार का मानना है कि जीएसटी सिस्टम में रिफॉर्म्स से इकोनॉमी के कई सेक्टर्स को फायदा होगा। इकोनॉमिक एक्टिविटी बढ़ेगी। इससे कई सेक्टर्स की ग्रोथ तेज होगी। अभी कई आइटम्स के मामले में इनवर्टेड ड्यूटी स्ट्रक्चर की प्रॉब्लम है। इसका मतलब है कि किसी आइटम्स कम टैक्स लगता है, जबकि उस आइटम की मैन्युफैक्चरिंग में इस्तेमाल होने वाले इनपुट पर ज्यादा टैक्स लगता है। इस कमी को दूर करने से डोमेस्टिक वैल्यू एडिशन को बढ़ावा मिलेगा। क्लासिफिकेशन से जुड़े विवाद में कमी करने के लिए सरकार रेट्स में बदलाव करने जा रही है।
जरूरी चीजों के दाम घटने से आम आदमी को मिलेगी राहत
आम आदमी को राहत जीएसटी रिफॉर्म्स का एक बड़ा मकसद है। इसके तहत सरकार जरूरी चीजों सहित कई आइटम्स पर टैक्स घटाना चाहती है। सरकार का मानना है कि इससे चीजों की कीमतें लोगों के खरीदने के दायरे में आ जाएंगी। इससे कंजम्प्शन बढ़ेगा। साथ ही आबादी के बड़े हिस्से को काफी राहत मिलेगी। सरकार आगे सिर्फ 2 स्लैब वाला सिस्टम चाहती है। इसमें दो स्लैब्स-स्टैंडर्ड और मेरिट होंगे। स्पेशल रेट्स सिर्फ कुछ चुनिंदा आइट्म्स के लिए होगा।
जीएसटी रजिस्ट्रेशन प्रोसेस को भी आसान बनाने पर फोकस
सरकार जीएसी रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया को भी आसान बनाना चाहती है। इसमें टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल बढ़ाने का प्लान है। इससे पूरी प्रक्रिया में लगने वाला समय कम हो जाएगा। इसका ज्यादा फायदा स्मॉल बिजनेसेज और स्टार्टअप्स को मिलेगा। इसके अलावा प्री-फिल्ड रिटर्न को लागू किया जा रहा है। इससे मानवीय हस्तक्षेप में कमी आएगी और मिसमैज जैसी प्रॉब्लम्स घटेगी। जीएसटी काउंसिल की अगली बैठक में GoM के सुझाव पर चर्चा होगी। सरकार की कोशिश जल्द से जल्द रिफॉर्म्स लागू करने पर है।