वैदिक पंचांग के अनुसार, दिवाली कार्तिक अमावस्या के दिन मनाई जाती है और इस साल ये पावन पर्व 20 अक्टूबर को पड़ रहा है। ये पर्व न सिर्फ रोशनी और उल्लास का प्रतीक है, बल्कि घर में सकारात्मक ऊर्जा और समृद्धि लाने का भी शुभ अवसर माना जाता है। वास्तु शास्त्र के मुताबीक, दिवाली से पहले घर में कुछ छोटे-छोटे बदलाव और सुधार करने से धन, सुख और समृद्धि बढ़ाने में मदद मिलती है। घर के विभिन्न हिस्सों को व्यवस्थित करना, साफ-सफाई रखना और सही दिशा में महत्वपूर्ण वस्तुएं रखना धन की देवी मां लक्ष्मी को प्रसन्न करने का सबसे प्रभावी तरीका माना जाता है।
उत्तर दिशा में तिजोरी या कीमती सामान रखना, मुख्य द्वार को स्वच्छ और आकर्षक बनाना, तथा घर के कोनों में पर्याप्त रोशनी और तुलसी का पौधा लगाना इन उपायों को और भी प्रभावी बनाता है। इस तरह के वास्तु उपाय घर में खुशहाली और समृद्धि बनाए रखने में सहायक होते हैं।
उत्तर दिशा में रखें तिजोरी और धन-सामग्री
वास्तु शास्त्र के अनुसार उत्तर दिशा को धन के देवता कुबेर की दिशा माना गया है। इसलिए घर में तिजोरी, कीमती गहने या महत्वपूर्ण दस्तावेज इस दिशा में रखें। इस दिशा में कुबेर यंत्र, माता लक्ष्मी की प्रतिमा या चित्र स्थापित करना भी अत्यंत शुभ है। ध्यान रखें कि इस दिशा में जूते-चप्पल, कूड़ादान या गंदगी न रखें, वरना धन से जुड़ी बाधाएं और आर्थिक नुकसान हो सकते हैं।
मुख्य द्वार की साफ-सफाई है जरूरी
वास्तु शास्त्र में मुख्य द्वार को घर का सबसे महत्वपूर्ण भाग माना गया है। इसे हमेशा स्वच्छ और आकर्षक रखना चाहिए, क्योंकि यहीं से घर में लक्ष्मी प्रवेश करती हैं। दिवाली की तैयारी के दौरान टपकते नल, टूटी घड़ी, खराब या टूटा शीशा, खराब इलेक्ट्रॉनिक सामान हटा दें। ये वस्तुएं नकारात्मक ऊर्जा बढ़ाती हैं और धन हानि का कारण बन सकती हैं।
दिशाओं के अनुसार घर सजाएं
घर में साफ-सफाई और पर्याप्त रोशनी बनाए रखना जरूरी है ताकि नकारात्मकता दूर हो और सकारात्मक ऊर्जा बनी रहे। घर में तुलसी का पौधा अवश्य लगाएं। इसे उत्तर, ईशान कोण (उत्तर-पूर्व) या पूर्व दिशा में रखना शुभ होता है। वहीं, दक्षिण दिशा में भारी वस्तुएं जैसे मशीनें या अलमारी रखना लाभकारी माना जाता है। ये दिशा जितनी स्थिर और व्यवस्थित रहेगी, उतना ही घर में सुख-समृद्धि बढ़ेगी।