रिकॉर्ड हाई लेवल से निवेशकों की 91 फीसदी से अधिक पूंजी डुबो चुका जेनसॉल इंजीनियरिंग (Gensol Engineering) में घोटाले से तार जुड़ने पर अश्नीर ग्रोवर (Ashneer Grover) ने सफाई दी है। शार्क टैंक इंडिया (Shark Tank India) के जज रह चुके और भारतपे के पूर्व को-फाउंडर अश्नीर ग्रोवर का कहना है कि इस मामले में वह तो पीड़ित हैं। यह मामला अश्नीर ग्रोवर के स्टार्टअप थर्ड यूनिकॉर्न प्राइवेट लिमिटेड (Third Unicorn Pvt Ltd) की फंडिंग से जुड़ा है जो इसे अनमोल सिंह जग्गी से मिला था। अनमोल सिंह जग्गी जेनसॉल इंजीनियरिंग के प्रमोटर हैं और अभी बाजार नियामक सेबी ने कंपनी के प्रमोटर्स पर कई आरोप लगाए हैं, जिसमें से एक है लोन के पैसों का डाइवर्ट करना।
कैसा आया Ashneer Grover का नाम?
15 अप्रैल 2025 की तारीख में सेबी के अंतरिम आदेश में सामने आया कि अश्नीर ग्रोवर के वेंचर में निवेश जेनसॉल से जुड़ी एंटिटीज से जुड़े संदिग्ध वित्तीय लेन-देन के व्यापक पैटर्न का हिस्सा था। अंतरिम आदेश के मुताबिक जग्गी ने थर्ड यूनिकॉर्न के 2,000 शेयर ₹50 लाख में खरीदे और 31 मार्च, 2024 तक अपनी हिस्सेदारी बरकरार रखी। इसी कारण अश्नीर ग्रोवर का नाम जेनसॉल इंजीनियरिंग में गड़बड़ियों से जुड़ा।
क्या कहना है Gensol के प्रमोटर्स से जुड़े निवेश पर अश्नीर ग्रोवर का?
अश्नीर ग्रोवर ने जेनसॉल में गड़बड़ियों को लेकर कहा कि वह इस मामले में खुद पीड़ित हैं। उन्होंने खुलासा किया कि उन्होंने खुद ब्लूस्मार्ट में ₹1.5 करोड़ और मैट्रिक्स में ₹0.25 करोड़ का निवेश किया है। ब्लूस्मार्ट और मैट्रिक्स, ये दोनों कंपनियां अनमोल सिंह जग्ही की है। उन्होंने 17 अप्रैल को X (पूर्व नाम Twitter) पर एक ट्वीट में कहा कि कोई भी प्राइवेट लिमिटेड कंपनी शेयरहोल्डर के व्यवहार या उनके फंड के स्रोत को लेकर जवाबदेह नहीं है। उन्होंने ये बातें अपनी कंपनी में जग्गी के निवेश को लेकर रही जिन पर फिलहाल घोटाले का आरोप है।
ग्रोवर और जग्गी में रहा है 'दोस्ताना संबंध'!
अश्नीर ग्रोवर ने शेयरहोल्डर के तौर पर अनमोल सिंह जग्गी के निवेश पर सीधे कहा कि अनमोल सिंह जग्गी ने यह पैसे कहां से लाया और अनमोल सिंह जग्गी किस प्रकार के इंसान हैं, इसे लेकर वह जवाबदेह नहीं हैं। हालांकि इससे पहले दोनों के बीच दोस्ताना संबंधों की झलक दिखी थी। वर्ष 2023 की शुरुआत में उन्होंने अपनी एक किताब दोगलापन के प्रकाशित होने की कुछ ही समय बाद उन्होंने अपनी साइन हुई कॉपी जग्गी को भेंट की थी। ग्रोवर ने अपने हाथ से लिखा था 'टू अनमोल जग्गी ' (अनमोल जग्गी के लिए) और 'आई गेट एलांग फैबुलसली विद सरदार जीस' (मैं सरदार जीस के साथ बहुत बढ़िया तरीके से घुल-मिल गया हूं)। इसके आगे उन्होंने लिखा था कि जसपाल भिंडरा के साथ पीएमसी बैंक बचाया, तेर साथ ओला+उबेर को बीट करना है। उन्होंने आगे लिखा था कि 'थिंक एंड डू बिग' (बड़ा सोचो और बड़ा करो)।
जग्गी के लिए ये बातें ग्रोवर ने इसलिए लिखी थी क्योंकि ब्लूस्मार्ट एक ईवी-बेस्ड कैब सर्विस कंपनी है। ग्रोवर ने जिन सरदार जीस का जिक्र किया था, वह स्टैंडर्ड चार्टर्ड इंडिया के पूर्व प्रमुख जसपाल बिंद्रा हैं और ग्रोवर ने जीस और जग्गी के साथ मिलकर मोबिलिटी स्पेस में साथ मिलकर काम करने की इच्छा जाहिर की थी। इसे लेकर जग्गी ने बाद में लिंक्डइन पर अपने साइन के साथ एक नोट साझा कर ग्रोवर को धन्यवाद कहा था। जग्गी ने हिंदी में संबोधित करते हुए अंग्रेजी में लिखा था कि अश्नीर ग्रोवर भैया, आपकी किताब की व्यक्तिगत रूप से साइन हुई कॉपी के लिए धन्यवाद। आपकी मित्र सूची में शामिल होने पर बहुत गर्व है। आपसे ज्ञान प्राप्त करना सफलता की कुंजी है।