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जहरीली हवा से बढ़ रही सांस संबंधी बीमारियों का कहर, रिकॉर्ड स्तर पर पहुंची अस्थमा और COPD दवाओं की बिक्री; उत्तर भारत में हालात सबसे खराब

Anti Histamines Drug Sales: पंजाब, हरियाणा, दिल्ली और उत्तर प्रदेश में सांस से संबंधित बीमारियों की दवाओं में गजब की वृद्धि दर्ज की गई। यहां तक कि उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश जैसे छोटे पहाड़ी राज्यों में भी एंटीहिस्टामिन की बिक्री में साल-दर-साल 45 प्रतिशत का उछाल आया है, जो बताता है कि प्रदूषण की समस्या अब केवल महानगरों तक सीमित नहीं रही, बल्कि दूर-दराज के क्षेत्रों में भी फैल रही है

Curated By: Abhishek Guptaअपडेटेड Dec 09, 2025 पर 4:07 PM
जहरीली हवा से बढ़ रही सांस संबंधी बीमारियों का कहर, रिकॉर्ड स्तर पर पहुंची अस्थमा और COPD दवाओं की बिक्री; उत्तर भारत में हालात सबसे खराब
दवाओं की बिक्री में सबसे तेज उछाल उत्तर भारत के राज्यों में देखा गया

Toxic Air: देश के बड़े हिस्से में जहरीले धुंध की चादर छाए रहने से सांस संबंधी बीमारियां खतरनाक स्तर पर पहुंच गई हैं। खासतौर पर उत्तर भारत में इससे ज्यादा लोग प्रभावित है। इसका नतीजा ये हुआ है कि नवंबर 2025 में अस्थमा और सीओपीडी (क्रॉनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिजीज) दवाओं की बिक्री ने पिछले तीन वर्षों में रिकॉर्ड वृद्धि दर्ज की गई है। इन दवाओं की बिक्री में ये वृद्धि बिगड़ती वायु गुणवत्ता और दवा की खपत के बीच एक खतरनाक संबंध को दर्शाती है।

दवाओं की रिकॉर्ड तोड़ बिक्री

फार्माट्रैक डेटा के अनुसार, नवंबर में एंटी-अस्थमा और सीओपीडी सेगमेंट में साल-दर-साल 10 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई, जो 2022 के बाद से इस महीने का सबसे मजबूत प्रदर्शन है। फार्माट्रैक में मार्केटिंग अध्यक्ष शीतल सप्ले ने कहा, 'खराब होते AQI स्तर अब मुख्य श्वसन चिकित्सा श्रेणियों में खपत में वृद्धि के रूप में स्पष्ट रूप से दिखाई दे रहे हैं।'

प्रदूषण से होने वाली एलर्जी प्रतिक्रियाओं के इलाज के लिए इस्तेमाल की जाने वाली सिस्टमिक एंटीहिस्टामिन दवाओं की बिक्री में भी 9 प्रतिशत की तेजी आई है, जो प्रदूषण से जुड़ी बीमारियों के बढ़ने का संकेत है।

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