Rahul Gandhi vs Election Commission: भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने गुरुवार (18 सितंबर) को कांग्रेस नेता राहुल गांधी द्वारा लगाए गए उन आरोपों को 'निराधार' करार दिया, जिनमें उन्होंने कहा था कि मुख्य चुनाव आयुक्त (CEC) ज्ञानेश कुमार 'वोट चोरों' को बचा रहे हैं। बीजेपी के सीनियर नेता अनुराग ठाकुर ने पलटवार करते हुए एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि राहुल गांधी की बार-बार कोशिश है कि लोकतंत्र पर प्रहार किया जाए। लोकतंत्र को कमजोर किया जाए। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी की कोशिश है कि किसी तरह झूठ बोल-बोलकर देश में बांग्लादेश और नेपाल जैसी स्थिति बना दो।
उन्होंने कहा कि राहुल गांधी के बयानों ने बार बार बताया है कि वे घुसपैठियों के साथ हैं और SC-ST-OBC का वोट काटना चाहते हैं। ठाकुर ने कहा कि राहुल गांधी ने कहा कि हम लोकतंत्र बचाने नहीं आए… तो क्या लोकतंत्र को बर्बाद करने की तैयारी है?
बीजेपी नेता ने कहा, "बार-बार संवैधानिक संस्थाओं और चुनाव आयोग पर गलत एवं निराधार आरोप लगाना, कभी वीवीपैट पर, कभी ईवीएम पर, तो कभी चुनावी नतीजों पर प्रश्नचिह्न खड़ा करना, कभी टूलकिट के सहारे भारत की संवैधानिक संस्थाओं की विश्वसनीयता पर सवाल उठाना… क्या यह कांग्रेस की आदत बन चुकी है?"
पूर्व केंद्रीय मंत्री ने आगे कहा, "2023 में आलंद विधानसभा में नाम काटने के असफल प्रयास किए गए। इस पर चुनाव आयोग ने ही FIR करने को कहा था। चुनाव आयोग ने मोबाइल नंबर और IP एड्रेस पहले ही उपलब्ध करा दिया है। इतना सब करने के बाद कांग्रेस शासित कर्नाटक की CID ने अब तक क्या किया?"
उन्होंने कहा, "राहुल गांधी, आज की प्रेस वार्ता में हाइड्रोजन बम फोड़ने वाले थे, फुलझड़ी से काम चलाना पड़ा, वो भी फुस्स हो गई। चुनाव आयोग ने कहा है कि ऑनलाइन किसी भी वोट को नहीं काटा जा सकता है और बगैर किसी की बात सुने उसका वोट नहीं काटते, उस पर निर्णय नहीं करते।"
ठाकुर ने कहा, "चुनाव दर चुनाव हार और जनता से नकार दिए जाने वाले एक नेता, जिनके नेतृत्व में करीब 90 चुनाव कांग्रेस पार्टी हार चुकी है। उनकी हताशा-निराशा लगातार बढ़ती जा रही है और आरोपों की राजनीति को राहुल गांधी ने अपना आभूषण बना लिया है।"
उन्होंने आगे कहा, "जब इनके (राहुल गांधी) द्वारा लगाए गए आरोपों को प्रमाणित करने के लिए कहा जाता है तो पीठ दिखाकर भाग जाते हैं, शपथ पत्र देने को कहा जाता है तो मुकर जाते है। आधारहीन आरोप लगाना इनकी आदत बन गई है।"
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कथित 'वोट चोरी' के खिलाफ अपनी मुहिम के क्रम में गुरुवार को वोटर लिस्ट से कांग्रेस समर्थक मतदाताओं के नाम हटाए जाने का विषय उठाया। उन्होंने आरोप लगाया कि मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार लोकतंत्र की हत्या करने वालों तथा वोट चोरों की रक्षा कर रहे हैं। हालांकि, निर्वाचन आयोग ने उनके आरोपों को गलत और निराधार करार दिया।
लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने कांग्रेस मुख्यालय 'इंदिरा भवन' में कर्नाटक के कलबुर्गी जिले के आलंद विधानसभा क्षेत्र के आंकड़ों का हवाला देते हुए दावा किया कि कांग्रेस के मतदाताओं के नाम हटाने का प्रयास सुनियोजित तरीके से किया गया। इसमें सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल हुआ।
उन्होंने यह भी कहा कि ज्ञानेश कुमार को 'वोट चोरों' का संरक्षण देना बंद करना चाहिए। उन्होंने कहा कि एक सप्ताह में निर्वाचन आयोग को कर्नाटक की सीआईडी के साथ पूरी जानकारी साझा करनी चाहिए। उनके अनुसार, जिनके नाम हटाने के प्रयास हुए और जिनके नाम का इस्तेमाल कर नाम हटाने के आवेदन दिए गए, उन्हें इसकी जानकारी ही नहीं थी।
उन्होंने कहा कि यह 'हाइड्रोजन बम' नहीं है। वह आगे आने वाला है। राहुल गांधी ने बीते 1 सितंबर को पटना में 'वोटर अधिकार यात्रा' के समापन के मौके पर 'वोट चोरी' से जुड़े अपने पहले के खुलासे का हवाला देते हुए दावा किया था कि 'एटम बम' के बाद अब 'हाइड्रोजन बम' आने वाला है।