विधानसभा चुनाव 2023: इस बार बिना CM फेस के चुनाव लड़ने से बीजेपी को नुकसान होगा या फायदा, कितना सही है ये फैसला?

विधानसभा चुनाव 2023: इस बात पर बड़ी ही गरमागरम बहस चल रही है कि क्या बीजेपी को अपने इस फैसले का आगामी विधानसभा चुनावों (Assembly Elections 2023) फायदा मिलेगा या नुकसान? लेकिन पिछले CSDS सर्वे के साक्ष्य और इन तीन राज्यों में चुनाव से पहले हुए सर्वे से जुटाए गए आंकड़ों से पता चलता है कि पार्टी ने सही निर्णय लिया है

अपडेटेड Nov 03, 2023 पर 6:58 PM
Story continues below Advertisement
विधानसभा चुनाव 2023: इस बार बिना CM फेस के चुनाव लड़ने से बीजेपी को नुकसान होगा या फायदा

संजय कुमार

विधानसभा चुनाव 2023: ये बात अब काफी हद तक साफ हो चुकी है कि भारतीय जनता पार्टी (BJP) मध्य प्रदेश (MP) में अपने मौजूदा मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chouhan), राजस्थान (Rajasthan) में पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे (Vasundhara Raje) और छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) में भी पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह (Raman Singh) के चेहरों पर चुनाव नहीं लड़ रही है। ऐसे में इस बात पर बड़ी ही गरमागरम बहस चल रही है कि क्या बीजेपी को अपने इस फैसले का आगामी विधानसभा चुनावों (Assembly Elections 2023) फायदा मिलेगा या नुकसान? लेकिन पिछले CSDS सर्वे के साक्ष्य और इन तीन राज्यों में चुनाव से पहले हुए सर्वे से जुटाए गए आंकड़ों से पता चलता है कि पार्टी ने सही निर्णय लिया है।

पार्टी नेताओं की लोकप्रियता रेटिंग और संबंधित पार्टी के वोट शेयर के विश्लेषण से पता चलता है कि पार्टी को मिले वोटों की तुलना में नेता की हाई पॉपुलैरिटी रेटिंग इस बात का संकेत है कि नेता अपनी लोकप्रियता के दम पर पार्टी के लिए वोट खींचने में सक्षम हैं। पार्टी के वोट शेयर की तुलना में नेता की कम लोकप्रियता रेटिंग किसी नेता की अपनी पार्टी के लिए वोट खींचने में असमर्थता का संकेत है।


2008, 2013 और 2018 के विधानसभा चुनावों के दौरान लोकनीति-CSDC की तरफ से किए गए चुनाव के बाद सर्वे के डेटा से हमें उन चुनावों के दौरान शिवराज सिंह चौहान, रमन सिंह और वसुंधरा राजे की लोकप्रियता रेटिंग को समझने में मदद मिलती है और ये समझने में मदद मिलती है कि क्या उन्होंने वोट जुटाने के लिए पार्टी की मदद की।

छत्तीसगढ़: रमन सिंह की रेटिंग घटी

2013 के विधानसभा चुनाव के दौरान पार्टी के वोट शेयर की तुलना में रमन सिंह की पॉपुलैरिटी रेटिंग ज्यादा थी, लेकिन 2018 के चुनाव के दौरान, उनकी पॉपुलैरिटी रेटिंग पार्टी के समर्थन आधार की तुलना में बहुत कम थी।

CM faces 031123_001

इस छत्तीसगढ़ चुनाव के लिए नए चुनाव से पहले सर्वे भी संकेत दे रहा है कि रमन सिंह की लोकप्रियता बीजेपी के वोट शेयर के अनुमान से कम है। ये उस स्थिति में है, जब मतदान के आखिरी दिन से कुछ हफ्ते पहले तक बीजेपी कांग्रेस से पिछड़ती दिख रही है।

मध्य प्रदेश: बीजेपी के लिए चौहान पर कड़ी चुनौती

मध्य प्रदेश और राजस्थान में भी पैटर्न कमोबेश एक जैसा ही था। मध्य प्रदेश में, 2008 और 2013 के विधानसभा चुनावों के दौरान, शिवराज सिंह चौहान की लोकप्रियता पार्टी के वोटशेयर की तुलना में ज्यादा थी, जो साफतौर से उनकी पार्टी के लिए वोट खींचने की उनकी क्षमता को दर्शाता है।

लेकिन 2018 के विधानसभा चुनावों के दौरान, शिवराज सिंह चौहान की पॉपुलैरिटी रेटिंग उस चुनाव में बीजेपी को मिले वोटों के बराबर थी, जो न केवल उनकी घटती लोकप्रियता का संकेत है, बल्कि उनकी पार्टी के लिए वोट खींचने की उनकी घटती क्षमता का भी संकेत है।

CM faces 031123_002

नए चुनाव से पहले सर्वे के निष्कर्षों से संकेत मिलता है कि उनकी लोकप्रियता में और गिरावट आई है, लेकिन ये अभी भी रमन सिंह या वसुंधराजे सिंधिया की तुलना में बहुत ज्यादा है।

फिर भी, अक्टूबर के आखिरी हफ्तों में किए गए चुनाव से पहले सर्वे के आधार पर चौहान की लोकप्रियता बीजेपी के अनुमानित वोट शेयर से कम है।

राजस्थान: वसुंधरा की लोकप्रियता में गिरावट

राजस्थान की कहानी बहुत अलग नहीं है। 2008 के विधानसभा चुनाव के दौरान वसुंधरा राजे की लोकप्रियता उस चुनाव में बीजेपी के वोट शेयर की तुलना में बहुत ज्यादा थी, लेकिन 2018 के विधानसभा चुनाव के दौरान उनकी लोकप्रियता उस चुनाव में बीजेपी के वोट शेयर (39 प्रतिशत) की तुलना में 11 प्रतिशत अंक कम (28 प्रतिशत) थी।

CM faces 031123_003

नवीनतम चुनाव पूर्व सर्वेक्षण के आधार पर वसुंधरा राजे की लोकप्रियता और अनुमानित वोट शेयर का अनुमान बताता है कि उनकी लोकप्रियता और अनुमानित वोट शेयर के बीच का अंतर और बढ़ गया है, जो उनकी पार्टी के लिए वोट खींचने की उनकी घटती क्षमता का संकेत है।

मोदी फैक्टर

इसमें कोई आश्चर्य की बात नहीं है कि BJP ने इन तीनों नेताओं में से किसी को भी अपने-अपने राज्यों के चुनावों में पार्टी के चेहरे के रूप में पेश नहीं करने का फैसला क्यों किया और 2023 का विधानसभा चुनाव प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने लड़ने का फैसला किया।

2023 के चुनाव से पहले के सर्वे के निष्कर्षों से पता चलता है कि राजस्थान, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ तीनों राज्यों में बीजेपी को वोट देने का इरादा रखने वालों की एक बड़ी संख्या नरेंद्र मोदी के नाम पर BJP को वोट देने को तैयार है।

किसी को नहीं पता कि ये इन तीनों राज्यों में चुनाव जीतने के लिए बीजेपी के लिए पर्याप्त हो सकता है या नहीं, लेकिन सबूत ये सुझाव देते हैं कि मौजूदा मुख्यमंत्री और पूर्व मुख्यमंत्री से ज्यादा, ये प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी का चेहरा है, जो बड़ा है।

Elections 2023: बदला रिवाज, सर्वे के भरोसे बांटे टिकट; कैसे चुनावी राज्यों में पुरानी गलतियों से सबक ले रही कांग्रेस

 

संजय कुमार सेंटर फॉर द स्टडी ऑफ डेवलपिंग सोसाइटीज (CSDS) में प्रोफेसर हैं। वह एक राजनीतिक विश्लेषक भी हैं। ये उनके व्यक्तिगत विचार हैं और इस प्रकाशन के रुख का प्रतिनिधित्व नहीं करते हैं।

Shubham Sharma

Shubham Sharma

First Published: Nov 03, 2023 6:54 PM

हिंदी में शेयर बाजार स्टॉक मार्केट न्यूज़,  बिजनेस न्यूज़,  पर्सनल फाइनेंस और अन्य देश से जुड़ी खबरें सबसे पहले मनीकंट्रोल हिंदी पर पढ़ें. डेली मार्केट अपडेट के लिए Moneycontrol App  डाउनलोड करें।