हरियाणा विधानसभा चुनाव की जंग में कांग्रेस नेता कुमारी शैलजा को लेकर सैलाब जारी है। राज्यसभा सांसद किरण चौधरी शैलजा के BJP में लाने के लिए मना रही थीं। किरण ने इसके सार्वजनिक न करने की बात कह कर हुड्डा पिता पुत्र पर जमकर निशाना साधा। यही नहीं किरण ने 'बापू बेटा' के बहिष्कार करने की बड़ी मांग भी की। हरियाणा कांग्रेस में गुटबाजी कोई नई बात नहीं, लेकिन विधानसभा चुनाव में टिकट बंटवारे और उसके बाद कुमारी शैलजा की नाराजगी जगजाहिर है।
पूर्व मुख्यमंत्री और केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने तो शैलजा को BJP में आने का निमंत्रण तक दे डाला। इसके बाद चर्चाएं चलीं कि किरण चौधरी, जो कांग्रेस में कभी शैलजा के साथ रहकर काम करती थीं, वह शैलजा को मना कर BJP में लाने के कोशिश कर रही हैं।
किरण इसको लेकर BJP के दिग्गज नेता अमित शाह, जेपी नड्डा और राजनाथ से लगातार संपर्क में थीं। इसके लिए किरण अपनी बेटी का चुनाव प्रचार छोड़ तीन-चार दिन दिल्ली और चंडीगढ़ में डटी रहीं। अब भिवानी पहुंचने पर किरण चौधरी ने सारी बातों का खुलासा, तो नहीं किया लेकिन उन्होंने ये संकेत जरूर दिए कि उन्होंने शैलजा को BJP में लाने की खूब कोशिश की।
बापू बेटों का करें बहिष्कार: किरण चौधरी
किरण चौधरी ने कुमारी शैलजा की नाराजगी पर कहा कि सैलजा को लेकर, जो टिप्पणी की गई, महिला होने के नाते मुझे बहुत शर्म आई। उन्होंने आरोप लगाया कि 'बापू बेटा' कांग्रेस के हर कद्दावर नेता का काम तमाम करने में लगे हैं।
उन्होंने कहा, "मेरे साथ भी ऐसा ही किया था, लेकिन मैं तो इन्हें मुंह तोड़ जवाब देती थी। किरण चौधरी ने कहा कि ये (बापू बेटा) दलित ही नहीं, महिला विरोधी हैं। सभी को मिलकर इनका बहिष्कार करना चाहिए।
'हुड्डा ने रणदीप और शैलजा को अलग-थलग कर दिया'
शैलजा को BJP में लाने के सवाल पर किरण चौधरी ने कहा, "चर्चाएं चलती रहती हैं। मेरे शैलजा के साथ बहुत अच्छे संबंध हैं। हमने मिलकर कांग्रेस में काम किया, पर हुड्डा सारे सिस्टम को कैप्चर कर गए। हरियाणा में हुड्डा ने उभरती हुई कांग्रेस को खत्म कर दिया। रणदीप और शैलजा को अलग-थलग कर साइड में बैठा दिया।
क्या अब भी शैलजा को BJP में लाने की कोशिश हो रही है? इस पर किरण चौधरी ने कहा कि सभी बातों का खुलासा नहीं कर सकते।
इससे पहले किरण ने हरियाणा में चुनाव प्रचार व माहौल को लेकर कहा कि टिकट बंटवारे में 'बापू बेटे' ने अपनों के साथ ही वादाखिलाफी की, जिसके चलते इन्हीं के नेता निर्दलिय खड़े हो गए।
किरणा चौधरी और हुड्डा परिवार के बीच पुरानी लड़ाई
किरण ने कहा कि ये सत्ता हथियाने के चक्कर में हैं। इनके प्रत्याशी खुले आम नौकरियों में पर्ची और खर्ची चलाने की बातें करते हैं। मतलब इन्हें मौका मिला, तो खुले आम भ्रष्टाचार करेंगे। किरण ने कहा कि ये वही हैं, जिन्होंने कियानो की जमीनें सस्ते दामों में हड़प कर बिल्डरों को महंगे दामों में देकर मोटा मुनाफा कमाया था।
किरण चौधरी और हुड्डा परिवार के बीच दशकों से 36 का आंकड़ा है, जिसके चलते किरण कांग्रेस छोड़ BJP में आई। शैलजा की नाराजगी के चलते किरण चौधरी की ओर से उन्हें मना कर BJP में लाने के प्रयास हरियाणा में बड़ी हलचल के संकेत हैं। अभी शैलजा कांग्रेस के लिए प्रचार में उतर आई हैं, लेकिन किरण की बातों से लगता है कि वह भी कोशिश में हैं कि शैलजा को BJP में लाया जाए।