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MP Election: इन 11 सीटों पर जिसका जीता विधायक, उसकी बनी सरकार, पिछले 50 सालों से चला आ रहा ट्रेंड

Madhya Pradesh Election 2023: मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव कई संयोगों से भरा हुआ है। यहां के मांडला जिले की निवास विधानसभा को ही ले लीजिए। कम से कम पिछले 50 सालों से इस सीट से जिस पार्टी का विधायक बना है, राज्य में उसी पार्टी की सरकार बनी है। इसके अलावा भी राज्य में ऐसी कई सीटें हैं, जहां पिछले 24 सालों या 29 सालों से ऐसा ही ट्रेंड चला आ रहा है

अपडेटेड Oct 29, 2023 पर 11:43 AM
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Madhya Pradesh Election: बीजेपी और कांग्रेस ने इन सीटों को जीतने के लिए पूरी ताकत झोंक दी है

Madhya Pradesh Election 2023: मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव कई संयोगों से भरा हुआ है। यहां के मांडला जिले की निवास विधानसभा को ही ले लीजिए। कम से कम पिछले 50 सालों से इस सीट से जिस पार्टी का विधायक बना है, राज्य में उसी पार्टी की सरकार बनी है। इसके अलावा भी राज्य में ऐसी कई सीटें हैं, जहां पिछले 24 सालों या 29 सालों से ऐसा ही ट्रेंड चला आ रहा है। ऐसे में राज्य की दोनों प्रमुख पार्टियों- बीजेपी और कांग्रेस ने इन सीटों को जीतने पूरी ताकत झोंक दी है, जिससे वे राज्य में अपनी सरकार बनाने की संभावनाओं को मजूबत कर लीजिए। निवास विधानसभा सीट पर तो बीजेपी ने अपने केंद्रीय मंत्री फगन सिंह कुलस्ते को चुनाव मैदान में उतार दिया है।

अनूसूचित जनजाति के लिए आरक्षित निवास विधानसभा से 2018 में बीजेपी ने फगन सिंह कुलस्ते के छोटे भाई राम प्यारे कुलस्ते को टिकट दिया था। हालांकि वह कांग्रेस के अशोक मर्सकोले से चुनाव हार गए और इसी के साथ राज्य में कमलनाथ की अगुआई में कांग्रेस की सरकार बनी। हालांकि यह अलग बात है कि बाद में ज्योतिरादित्य सिंधिया और उनके समर्थकों के बगावत के चलते करीब एक साल बाद ही कांग्रेस सरकार गिर गई और वापस बीजेपी सत्ता में आ गई। राम प्यारे कुलस्ते इस सीट से 2003 से लगातार विधायक बन रहे थे और उस दौरान बीजेपी की सरकार बनी।

इससे पहले 1977 में यहां जनता पार्टी का उम्मीदवार जीता था और राज्य में जनता पार्टी की सरकार बनी थी। फिर 1980 और 1985 में लगातार दो बार इस सीट को कांग्रेस ने जीता और राज्य में सरकार भी बनाई। हालांकि 1990 में फगन सिंह कुलस्ते ने बीजेपी को इस सीट पर वापस जीत दिलाई और राज्य में भी पार्टी की सरकार बनी। 1993 के विधानसभा चुनाव में कुलस्ते चुनाव हार गए और राज्य में बीजेपी की जगह कांग्रेस की सरकार आ गई। 1998 में भी कांग्रेस ने इस सीट को और अपने राज्य में अपनी सरकार को बनाए रखा था।


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निवास विधानसभा के अलावा इन सीटों पर भी पिछले कई सालों से "जिसका जीता विधायक, उसकी बनी सरकार" का ट्रेंड चल रहा है-

पिछले 7 विधानसभा चुनाव से जारी ट्रेंड (29 साल)

- ग्वालियर पूर्व, ग्वालियर जिला (इसमें अब पूर्ववर्ती ग्वालियर विधानसभा के भी आंकड़े शामिल हैं)

पिछले 8 विधानसभा चुनाव से जारी ट्रेंड (34 साल)

- बड़नगर, जिला उज्जैन

- बड़वारा, पन्ना जिला

- बैतूल, बैतूल जिला

- घोड़ाडोंगरी, जिला बैतूल

पिछले 9 विधानसभा चुनाव से जारी ट्रेंड (39 साल)

- मनावर, धार जिला

- सौंसर, जिला छिंदवाड़ा

पिछले 10 विधानसभा चुनाव से जारी ट्रेंड (42 साल)

- खरगोन, खरगोन जिला

- नेपानगर, बुरहानपुर जिला

- सेंधवा, बड़वानी जिला

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