बजट में अनुमान से कम वित्तीय घाटे के लक्ष्य से ब्रोकरेज खुश हैं। CLSA और मॉर्गन स्टैनली ने कहा है कि गोल्ड पर कस्टम ड्यूटी घटने से टाइटन को फायदा होगा। इधर जेफरीज ने कहा है कि कैपेक्स बढ़ने से इंडस्ट्रियल शेयरों को बूस्ट मिलेगा। जेफरीज L&T, सीमेंस, HAL और थर्मेक्स को अपना टॉप पिक बताया है। उधर मॉर्गन स्टैनली और मैक्ववायरी ने कहा है कि सिगरेट ड्यूटी नहीं बढ़ने से ITC को सबसे ज्यादा फायदा होने वाला है।
CLSA का कहना है कि उम्मीद से कम राजकोषीय घाटा और राजकोषीय कंसोलीडेशन में निरंतरता बाजार के लिए बहुत अच्छी बात है। नौकरियां देने पर सरकार का फोकस है। उपभोग बढ़ाने के लिए प्रोत्सान और बुनियादी ढांचे के विकास पर फोकस से इकोनॉमी और बाजार दोनों को फायदा होगा। हालांकि कैपिटल गेन टैक्स में बढ़त से बाजार को मायूसी हुई है। CLSA का मानना है कि बजट प्रावधानों डिस्क्रिशनरी खपत वाले शेयर आईटीसी और टाइटन को सबसे ज्यादा फायदा हो सकता है। गोल्ड पर कस्टम ड्यूटी घटने से टाइटन को फायदा होगा।
बजट में पूंजीगत व्यय आवंटन (BE) बनाम वित्त वर्ष 2024 संशोधित व्यय (RE) अंतरिम बजट के 16 फीसदी सालाना ग्रोथ पर बनाए रखा गया। इसे बीएसएनएल में होने वाले पूंजी निवेश के लिए समायोजित किया गया है।
सार्वजनिक क्षेत्र के उद्यमों (PSE) सहित कुल पूंजीगत व्यय, अंतरिम बजट के 13 फीसदी सालाना बढ़त की तुलना में 16 फीसदी सालाना बढ़त पर ज्यादा है क्योंकि PSE पूंजीगत व्यय को 10 फीसदी तक संशोधित किया गया था। डिफेंस, सड़क और रेल पूंजीगत व्यय आवंटन अंतरिम बजट के समान है। जेफरीज इंडस्ट्रियल सेक्टर पर सकारात्मक नजरिया रखता है। एलएंडटी, सीमेंस, एचएएल और थर्मैक्स उसकी टॉप पिक हैं।
गोल्ड ड्यूटी कट पर ब्रोकरेज
एमके का कहना है कि ड्यूटी कट से संगठित क्षेत्र के गोल्ड प्लेयर्स को फायदा होगा। टाइटन पर सीएलएसए बुलिश है। ब्रोकरेज का कहना है टाइटन स्पष्ट रूप से बाजार में लीडर बना हुआ है और सीमा शुल्क में कमी से इस पर सकारात्मत असर होगा। टाइटन पर मॉर्गन स्टेनली का कहना है कि टाइटन पर हाई कॉम्पिटीटिव इंटेंसिटी और इसके चलते मार्जिन पर आने वाला दबाव निवेशकों की चिंता की बड़ी वजह रहा है। इससे अब थोड़ी राहत मिलेगी।
ड्यूटी में बढ़त न होने से ITC को होगा फायदा
ब्रोकरेज का कहना है कि ड्यूटी में बढ़त न होने से ITC को फायदा होगा। मैक्वेरी ने ITC का लक्ष्य बढ़ाकर 560 रुपये प्रति शेयर कर दिया है। ये पहले र 535 रुपये था। टारगेट प्राइस में 5 फीसदी की बढ़त की गई है। कर बढ़त में कमी को देखते हुए आय में बदलाव और बेहतर वॉल्यूम ग्रोथ की संभावना के चलते ब्रोकरेज ने FY25E/26E/27E EPS अनुमानों में 2 फीसदी की बढ़त की है।
डिस्क्लेमर: मनीकंट्रोल.कॉम पर दिए गए विचार एक्सपर्ट के अपने निजी विचार होते हैं। वेबसाइट या मैनेजमेंट इसके लिए उत्तरदाई नहीं है। यूजर्स को मनी कंट्रोल की सलाह है कि कोई भी निवेश निर्णय लेने से पहले सर्टिफाइड एक्सपर्ट की सलाह लें।