Credit Cards

Zepto से ऑर्डर करना हुआ महंगा, पहली बार कोई क्विक कॉमर्स कंपनी लेगी प्लेटफॉर्म फीस

जोमैटो (Zomato) की ब्लिंकिट (Blinkit) और स्विगी इंस्टामार्ट (Swiggy Instamart) के बाद देश की तीसरी सबसे बड़ी क्विक कॉमर्स कंपनी जेप्टो (Zepto) है। अब इससे सामान मंगाना महंगा हो गया क्योंकि इसने प्लेटफॉर्म फीस लगा दिया। ऐसा करने वाली यह देश की पहली क्विक-कॉमर्स कंपनी है। जेप्टो से देर रात ऑर्डर्स भी मंगाना महंगा हो चुका है। जानिए जेप्टो का टारगेट क्या है

अपडेटेड Mar 13, 2024 पर 4:19 PM
Story continues below Advertisement
हाइपरलोकल डिलीवरी प्लेटफॉर्म जेप्टो (Zepto) से सामान मंगवाना अब महंगा हो गया है क्योंकि सिर्फ प्लेटफॉर्म इस्तेमाल करने का अब 2 रुपये चार्ज देना पड़ सकता है।

हाइपरलोकल डिलीवरी प्लेटफॉर्म जेप्टो (Zepto) से सामान मंगवाना अब महंगा हो गया है क्योंकि सिर्फ प्लेटफॉर्म इस्तेमाल करने का अब 2 रुपये चार्ज देना पड़ सकता है। ऐसा करने वाली यह पहली क्विक-कॉमर्स कंपनी बन गई है। हालांकि यह चार्ज सभी यूजर्स को नहीं देना होगा। इससे पहले प्लेटफॉर्म फीस का कांसेप्ट ई-कॉमर्स और फूड डिलीवरी प्लेटफॉर्म पर ही देना होता है। जैसे कि जोमैटो (Zomato) और स्विगी (Swiggy) फूड डिलीवरी के लिए प्लेटफॉर्म फीस लेती हैं लेकिन जोमैटो की ब्लिंकिट (Blinkit) और स्विगी की इंस्टामार्ट (Instamart) से ग्रॉसरी मंगाने पर ऐसा कोई चार्ज नहीं देना होता है। ये दोनों जेप्टो की कॉम्पटीटर्स हैं। चूंकि जेप्टो की कॉम्पटीटर्स मांग बढ़ने पर 10 रुपये का चार्ज ले रही हैं तो जेप्टो पर भी प्लेटफॉर्म फीस आगे बढ़ने के आसार हैं।

देर रात ऑर्डर्स भी हुआ महंगा

प्लेटफॉर्म फीस के अलावा जेप्टो पर देर रात ऑर्डर्स करना भी महंगा हो चुका है। 11 बजे रात के बाद जो ऑर्डर प्लेस होंगे, उस पर 15 रुपये का लेट नाइट हैंडलिंग फीस देना पड़ सकता है। इसके अलावा Y Combinator के निवेश वाली यह कंपनी कुछ यूजर्स के लिए फ्री डिलीवरी सिस्टम भी खत्म कर चुकी है और अब कार्ट वैल्यू के हिसाब से 5 रुपये से लेकर 28 रुपये की डिलीवरी फीस ले रही है।


क्या है Zepto का टारगेट

जेप्टो कार्ट वैल्यू के आधार पर डिलीवरी चार्ज ले रही है। इसका लक्ष्य मई 2024 तक EBITDA पॉजिटिव करने का है। कंपनी के एक प्रवक्ता का कहना है कि मुनाफे में आने के लिए डिलीवरी फीस पर अधिक निर्भर रहने में कंपनी का भरोसा नहीं है बल्कि कोर ऑपरेटिंग एफिसिएंसी और लागत घटाकर मुनाफे में आना है। प्रवक्ता के मुताबिक कम डिलीवरी फीस के जरिए भी पॉजिटिव EBITDA हासिल करने के लिए कंपनी सही ट्रैक पर है और Zepto Pass इसका उदाहरण है। जेप्टो पास इसका लॉयल्टी प्रोग्राम है जिसके जरिए यह फ्री डिलीवरी और बेहतर डिस्काउंट मुहैया कराती है।

कंपनी का दावा है कि जेप्टो पास के पायलट फेज के दौरान सब्सक्राइबर्स का मासिक खर्च 30 फीसदी से अधिक बढ़ गया। जनवरी में बर्न्स्टीन ने जो रिपोर्ट पेश की थी, उसके मुताबिक क्विक कॉमर्स सेक्टर में जेप्टो 20 फीसदी मार्केट शेयर के साथ देश की तीसरी सबसे बड़ी कंपनी है। इसके आगे 40 फीसदी मार्केट शेयर के साथ जोमैटो की ब्लिंकिट और 37-39 फीसदी मार्केट हिस्सेदारी के साथ स्विगी इंस्टामार्ट है।

7th Pay Commission DA Hike: केंद्रीय कर्मचारी जान लें महंगाई भत्ते को लेकर अहम बातें, मार्च में आएगी इतनी सैलरी

हिंदी में शेयर बाजार स्टॉक मार्केट न्यूज़,  बिजनेस न्यूज़,  पर्सनल फाइनेंस और अन्य देश से जुड़ी खबरें सबसे पहले मनीकंट्रोल हिंदी पर पढ़ें. डेली मार्केट अपडेट के लिए Moneycontrol App  डाउनलोड करें।