मशहूर कारोबारी और इंफोसिस (Infosys) के चेयरमैन नारायण मूर्ति की पत्नी सुधा मूर्ति (Sudha Murthy) को राज्यसभा के लिए मनोनीत किया गया है। सामाजिक कार्यकर्ता एवं मूर्ति ट्रस्ट की अध्यक्ष सुधा मूर्ति को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने महिला दिवस (Women's Day) पर राज्यसभा के लिए मनोनीत किया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) ने शुक्रवार को इसका ऐलान करते हुए विविध क्षेत्रों में उनके योगदान की सराहना की। पीएम मोदी ने कहा कि सुधा मूर्ति हमारी 'नारी शक्ति' का एक शक्तिशाली प्रमाण हैं।
भारत के राष्ट्रपति कला, साहित्य, विज्ञान और सामाजिक सेवाओं में उनके योगदान के लिए 12 सदस्यों को संसद के उच्च सदन में नामांकित करते हैं। प्रधानमंत्री मोदी द्वारा राज्यसभा के लिए सुधा मूर्ति के नामांकन की घोषणा अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर की गई।
पीएम मोदी ने मूर्ति को बधाई देने के लिए X पर एक पोस्ट में कहा कि मुझे खुशी है कि भारत के राष्ट्रपति ने सुधा मूर्तिजी को राज्यसभा के लिए नामित किया है। पीएम मोदी ने कहा कि उच्च सदन में उनकी मनोनयन 'नारी शक्ति' का एक सशक्त प्रमाण है, जो राष्ट्र की नियति को आकार देने में महिलाओं की ताकत और क्षमता का उदाहरण भी है।
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने पोस्ट में कहा, "मुझे खुशी है कि भारत की राष्ट्रपति ने सुधा मूर्ति जी को राज्यसभा के लिए मनोनीत किया है। सामाजिक कार्य, परोपकार और शिक्षा सहित विविध क्षेत्रों में सुधा जी का योगदान असीम और प्रेरणादायक रहा है।"
इंफोसिस के सह-संस्थापक एन. आर. नारायणमूर्ति की पत्नी ‘मूर्ति ट्रस्ट’ की अध्यक्ष भी हैं और उन्होंने कई किताबें लिखी हैं। मूर्ति 73 वर्ष की हैं। उन्हें वर्ष 2006 में पद्मश्री और 2023 में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था। मूर्ति के पति नारायण मूर्ति आईटी दिग्गज इंफोसिस के संस्थापक हैं। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक उनके दामाद हैं।
मूर्ति को 2006 में भारत सरकार द्वारा सामाजिक कार्यों के लिए भारत के चौथे सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार, पद्म श्री से सम्मानित किया गया था। 2023 में उन्हें भारत के तीसरे सबसे बड़े नागरिक पुरस्कार पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था।
मूर्ति ने अपने पेशेवर करियर की शुरुआत कंप्यूटर साइंस और इंजीनियरिंग से की। वह गेट्स फाउंडेशन की सार्वजनिक स्वास्थ्य देखभाल पहल की भी सदस्य हैं। उन्होंने कई अनाथालयों की स्थापना की। साथ ही ग्रामीण विकास प्रयासों में भाग लिया। मूर्ति ने सभी कर्नाटक सरकारी स्कूलों को कंप्यूटर और लाइब्रेरी सुविधाएं प्रदान करने के आंदोलन का समर्थन किया। उन्होंने हार्वर्ड विश्वविद्यालय में मूर्ति क्लासिकल लाइब्रेरी ऑफ इंडिया की स्थापना की।