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VIDEO: 'तपस्या का मतलब है...': राहुल गांधी के बयान पर लोकसभा में लगे ठहाके, BJP ने किया पलटवार

Rahul Gandhi in Lok Sabha: लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने शनिवार (14 दिसंबर) को लोकसभा में सरकार पर तीखा हमला बोला। कांग्रेस सांसद ने आरोप लगाया कि जिस तरह एकलव्य का अंगूठा कटा था, उसी तरह से आज देश के युवाओं का अंगूठा काटा जा रहा है

अपडेटेड Dec 14, 2024 पर 4:56 PM
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Rahul Gandhi in Lok Sabha: लोकसभा में अपने संबोधन के दौरान राहुल गांधी ने कहा कि भारत में एक वैचारिक लड़ाई चल रही है

Constitution Debate Lok Sabha: लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने शनिवार (14 दिसंबर) को लोकसभा में संविधान पर बहस के दौरान केंद्र पर निशाना साधा और आरोप लगाया कि भारतीय जनता पार्टी (BJP) "मनुस्मृति को संविधान से ऊपर" मानती है। राहुल गांधी ने सरकार पर तीखा प्रहार किया और आरोप लगाया कि जिस तरह एकलव्य का अंगूठा कटा था, उसी तरह से आज देश के युवाओं का अंगूठा काटा जा रहा है। उन्होंने 'संविधान की 75 वर्ष की गौरवशाली यात्रा' पर चर्चा में भाग लेते हुए कहा कि आज भारत में एक वैचारिक लड़ाई चल रही है और विपक्ष की तरफ बैठे लोग संविधान के विचारों के संरक्षक हैं।

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने कहा कि विपक्षी दल सत्ता में आने पर जातिगत जनगणना करवाएंगे और आरक्षण की 50 प्रतिशत की सीमा को भी तोड़ेंगे। राहुल गांधी ने गुरु द्रोणाचार्य और एकलव्य की कहानी का उल्लेख करते हुए कहा कि जैसे एकलव्य का अंगूठा कटा था, उसी तरह सरकार पूरे देश के युवाओं का अंगूठा काट रही है।

उन्होंने आरोप लगाया, "जैसे एकलव्य ने तपस्या की थी, वैसे ही हिंदुस्तान के युवा सुबह उठकर अलग-अलग परीक्षा की तैयारी करते हैं। लेकिन जब आपने 'अग्निवीर' लागू किया, तब आपने उन युवाओं का अंगूठा काटा।" राहुल गांधी ने कहा कि जब पेपरलीक होता है, तब हिंदुस्तान के युवाओं का अंगूठा काटा जाता है।


तपस्या का बताया मतलब

राहुल गांधी ने भारतीय महाकाव्य महाभारत से एक उदाहरण देते हुए कहा कि द्रोणाचार्य ने गुरुदक्षिणा के रूप में एकलव्य का अंगूठा मांगा था। उन्होंने कहा, "एक लड़का (एकलव्य) था जो तपस्या करता था, सुबह जल्दी उठकर धनुष और बाण लेकर जाता था। तपस्या का मतलब शरीर में गर्मी पैदा करना है।" राहुल गांधी ने लोकसभा में जैसे ही 'तपस्‍या' का मतलब समझाया तो संसद में ठहाके लगने लगे। सत्‍ता पक्ष के साथ विपक्ष के भी कई सांसद हंसते नजर आए।

उन्होंने आगे कहा, "जैसे द्रोणाचार्य ने एकलव्य की उंगलियां काट दी थीं, वैसे ही आपने (सरकार ने) देश के युवाओं के अंगूठे काट दिए हैं।" इस टिप्पणी की सत्ता पक्ष ने तीखी आलोचना की और विपक्ष के नेता पर आरोप लगाया कि वे गलत तथ्य पेश कर रहे हैं।

किसानों का किया जिक्र

राहुल गांधी ने कहा, "आपने दिल्ली के बाहर किसानों पर आंसू गैस चलाई है, लाठियां चलाई हैं। किसान आपसे एमएसपी की मांग करते हैं, लेकिन आप दो उद्योगपतियों को फायदा पहुंचाते हैं और इस तरह से किसानों का अंगूठा काटने का काम करते हैं।" राहुल गांधी ने दावा किया कि विनायक दामोदर सावरकर ने संविधान के बारे में कहा था कि इसमें कुछ भी भारतीय नहीं है।

कांग्रेस नेता ने सत्तापक्ष पर कटाक्ष करते हुए कहा, "यह आपके नेता ने कहा था, जिनकी आप पूजा करते हैं। ऐसे में जब आप संविधान की रक्षा की बात करते हैं तो आप सावरकर को कमतर और अपमानित करते हैं।" राहुल गांधी ने कि संविधान में कहीं नहीं लिखा कि देश में एकाधिकार, पेपरलीक और अग्निवीर होने चाहिए।

उन्होंने सदन में सत्तापक्ष के सदस्यों की टोकाटोकी के बीच कहा, "संविधान में कहीं नहीं लिखा कि देश के युवाओं का अंगूठा काटना चाहिए, उनका हुनर उनसे छीन लेना चाहिए।" राहुल गांधी ने संविधान और वैचारिक लड़ाई का उल्लेख करते हुए एक हाथ में संविधान की प्रति और दूसरे हाथ में मनुस्मृति की प्रति उठाकर सदन में दिखाई। उन्होंने उत्तर प्रदेश के हाथरस में एक दलित युवती से बलात्कार की घटना का उल्लेख करते हुए कहा कि राज्य में संविधान नहीं, मनुस्मृति लागू होती है।

कांग्रेस नेता ने कहा, "कुछ दिन पहले मैं हाथरस गया। हाथरस में चार साल पहले एक लड़की से सामूहिक दुष्कर्म हुआ था। जिन्होंने सामूहिक दुष्कर्म किया, आज वे बाहर घूम रहे हैं, जबकि लड़की का परिवार अपने घर में बंद है।" उन्होंने आरोप लगाया, "आखिर ये संविधान में कहां लिखा है कि जो बलात्कार करते हैं वे बाहर रहें। यूपी में संविधान नहीं लागू होता है, वहां पर मनुस्मृति लागू हो रही है।"

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