यूपी विधानमंडल का सत्र सोमवार (16 दिसंबर 2024) से शुरू हो गया। जैसा कि पहला दिन हंगामेदार होने की उम्मीद थी। वैसा ही हुआ। सपा नेताओं ने नारेबाजी करते हुए हंगामा शुरू कर दिया। विधानसभा अध्यक्ष उन्हें समझाते रहे। इस बीच सीएम योगी आदित्यनाथ विपक्ष के हर सवालों का जबाव देते रहे। उन्होंने विपक्ष को विधानसभा में साफ तौर पर कह दिया है कि देश राम, कृष्ण और बुद्ध की परंपरा से चलेगा, बाबर-औरंगजेब की परंपरा से नहीं। आप तय कर लीजिए कि आपके आदर्श आक्रांता हैं या कोई और हैं। वहीं उन्होंने आगे ये भी कहा कि “जय श्री राम” का नारा उत्तेजक नहीं है। बल्कि यह हमारी आस्था और श्रद्धा का नारा है।
मोहर्रम या अन्य किसी त्योहार का जुलूस हिंदू मोहल्ले से, मंदिर के सामने से सुरक्षित निकल जाता है। कभी कोई समस्या नहीं होती है। समस्या वहीं पर क्यों खड़ी होती है, जब कोई हिंदू शोभायात्रा किसी मस्जिद के सामने या मुस्लिम बाहुल्य क्षेत्र से निकलती है। क्या सड़क किसी की व्यक्तिगत संपत्ति है? क्या भारत की धरती पर केसरिया झंडा नहीं लगाया जा सकता? किसी भी मत-मजहब के त्योहारों के दौरान जिस प्रकार कोई समस्या नहीं होती है। उसी तरह हिंदू पर्व के दौरान किसी ने समस्या खड़ी की तो सरकार सख्ती से निपटेगी।
संभल में 209 हिंदू मारे गए
CM योगी आदित्यनाथ ने कहा कि संभल में 1947 से अब तक हुए दंगों में 209 हिंदू मारे गए हैं। किसी ने एक बार भी उन निर्दोष लोगों के लिए संवेदना व्यक्त नहीं की। ये लोग हाल ही में हुए संभल दंगे पर आंसू बहा रहे हैं। ये लोग सौहार्द की बात कर करते हैं। शर्म आनी चाहिए। संभल में बजरंग बली का जो मंदिर आज निकल रहा है, 1978 से उसको इन लोगों ने खुलने नहीं दिया। 22 कुएं किसने बंद किए थे? इन लोगों ने तनावपूर्ण माहौल बनाया। पत्थरबाजी की होगी, माहौल खराब किया होगा। उसमें से एक भी बचने वाला नहीं। किसी निर्दोष पर कार्रवाई नहीं होगी, लेकिन पत्थरबाज और कट्टा चलाने वाले नहीं बचेंगे।
मस्जिदों में अवैध सब स्टेशन बनाए गए
योगी ने कहा कि हम तो यही जानते थे कि पावर कॉरपोरेशन ही बिजली प्रबंधन देखता है, लेकिन संभल में तो मस्जिदों में अवैध सब स्टेशन बनाकर कनेक्शन बांट दिए गए थे। वहां के दो मोहल्लों मीरासराय और दीपसराय में लाइन लॉस क्रमश: 78% और 82% है। यह देश की संसाधनों की लूट है।
देश राम-कृष्ण की परंपरा से चलेगा, बाबर-औरंगजेब की नहीं – योगी
विधानसभा में अपने भाषण के दौरान सीएम योगी ने आगे कहा कि भारत में राम-कृष्ण, बुद्ध की परंपरा रहेगी, बाबर और औरगंजेब की नहीं। अब हम न बंटेंगे और न कटेंगे। योगी ने अब तक प्रदेश में हुए एक-एक दंगे और उनमें मारे गए लोगों को भी गिनाया। बहराइच दंगे में मारे गए रामगोपाल मिश्रा का जिक्र किया।
बाबरनामा का जिक्र कर मंदिर-मस्जिद विवाद दिया जवाब
सीएम ने नेता प्रतिपक्ष से कहा कि बाबरनामा पढ़ना चाहिए। इसमें भी कहा गया है कि हरिहर मंदिर को तोड़कर ढांचा खड़ा किया गया। पुराण भी कहता है कि श्रीहरि विष्णु का 10वां अवतार संभल में होगा। न्यायालय के निर्देश पर डीएम और एसपी शांतिपूर्ण तरीके से सर्वे को संपन्न कराते हैं। 19, 21 और 24 नवंबर को सर्वे कार्य चल रहा था। इस दौरान पहले 2 दिन शांतिभंग नहीं हुई। 23 नवंबर को जुमे की नमाज के दौरान जिस प्रकार की तकरीरें दी गईं। उसके बाद माहौल खराब हुआ। उसके बाद की स्थितियां सबके सामने हैं। हमारी सरकार ने पहले ही कहा है कि हम ज्यूडिशियल एक्ट बनाएंगे, जो एक्ट के अंदर बना है। सदन में उसकी रिपोर्ट आएगी, तब दूध का दूध और पानी का पानी होगा।
जय श्रीराम और हर-हर महादेव से हिंदुओं को दिया संदेश
सीएम ने कहा कि जय श्री राम का नारा उत्तेजक नहीं है। यह हमारी श्रद्धा और आस्था का प्रतीक है। कल मैं कहूंगा कि मुझे अल्लाह-हु-अकबर का स्लोगन अच्छा नहीं लगता, तो आपको कैसे लगेगा? मैं जय श्रीराम, हर-हर महादेव और राधे-राधे कहकर जिंदगी काट सकता हूं। उन्होंने आगे कहा कि पश्चिम यूपी के सभी लोग अपने सामान्य संबोधन में राम-राम कहते हैं। ऐसे में 'जय श्रीराम' सांप्रदायिक संबोधन कैसे हो गया? हम मिलते हैं, तो राम-राम करते हैं। अंतिम यात्रा में भी राम-राम कहते हैं। हमारा तो कोई काम राम के बिना नहीं होता।