Greece Boat Tragedy: दक्षिणी ग्रीस के पास नाव डूबने की एक घटना में पाकिस्तान के 300 लोगों की मौत होने की आशंका है। अमेरिकी न्यूज चैनल CNN की रिपोर्ट में यह दावा किया गया है। रिपोर्ट के मुताबिक, नाव में पाकिस्तान के 400, मिस्र के 200 और सीरिया के 150 लोग सवार थे। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने नाव डूबने की घटना में पाकिस्तानी नागरिकों की मौत पर दुख जाहिर किया है। पीएम ने कहा है कि मानव तस्करों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी। उन्होंने कहा कि ये एक जघन्य अपराध है। पाकिस्तान ने POK से करीब 10 मानव तस्करों को गिरफ्तार किया है। इन पर गैर-कानूनी तरीकों से पाकिस्तान के लोगों को यूरोप पहुंचाने की कोशिश करने के आरोप हैं।
पाकिस्तान ने सैकड़ों लोगों की मौत पर आज यानी 19 जून को राष्ट्रीय शोक का ऐलान किया गया है। CNN के मुताबिक, ग्रीस के तट पर मछली पकड़ने वाले ट्रॉलर के डूबने से 300 से अधिक पाकिस्तानी नागरिकों की मौत हो गई है। पाकिस्तान की सीनेट के अध्यक्ष मुहम्मद सादिक संजरानी ने रविवार को एक बयान में मृतकों के शोक संतप्त परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए संख्या का खुलासा किया। हालांकि, ग्रीस अधिकारियों ने अभी तक पाकिस्तान के मरने वालों की संख्या की पुष्टि नहीं की है। रविवार को एक ट्वीट में शहबाज शरीफ ने घटना की "उच्च स्तरीय जांच" के आदेश दिए।
BBC के मुताबिक, इस घटना में अब तक कई पाकिस्तानी नागरिकों समेत सैंकड़ों लोग लापता हैं। बताया जा रहा है कि अभी तक 80 लोगों के शव मिले हैं। इस नाव पर सीरिया और मिस्र के लोग भी सवार थे। संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार कार्यालय ने बताया कि इस हादसे में 500 लोगों के लापता होने की आशंका है। रिपोर्ट के मुताबिक, इस नाव पर करीब 750 लोग सवार थे।
बिना वैध दस्तावेजों के यूरोप की खतरनाक यात्रा
बता दें कि हर साल हजारों पाकिस्तानी युवा एक बेहतर जिंदगी की तलाश में बिना वैध दस्तावेजों के यूरोप की खतरनाक यात्रा पर निकलते हैं। पाकिस्तानी अधिकारियों ने बताया कि इस घटना के संबंध में उन्होंने 10 लोगों को गिरफ्तार किया है। हालांकि, अभी तक पाकिस्तानी सरकार की तरफ से मरने वालों की संख्या नहीं बताई गई है।
माना जा रहा है कि जो लोग लापता हैं इनमें से किसी के भी जिंदा बचने की उम्मीद बहुत कम है। द गार्जियन ने हादसे में जिंदा बचे लोगों के हवाले से बताया है कि पाकिस्तान के लोगों जानबूझकर नाव के नीचे वाले इलाके डॉक में भेजा गया, जहां बचने की संभावना न के बराबर होती है। नाव में मौजूद लोगों ने ऐसा जानबूझकर किया।