25 फरवरी को समाप्त हफ्ते में लगातार तीसरे हफ्ते बाजार में दबाव रहा। रूस-यूक्रेन संकट, क्रूड ऑयल की बढ़ती कीमतें, एफएंडओ एक्सपायरी और एफआईआई की लगातार बिकवाली कुछ ऐसी वजहें रही जिन्होंने बाजार पर दबाव बनाए रखा। 25 फरवरी को समाप्त हफ्ते में बीएसई सेंसेक्स 1,974.45 अंक यानी 3.41 फीसदी की गिरावट के साथ 55,858.52 के स्तर पर बंद हुआ। वहीं निफ्टी 617.9 अंक यानी 3.57 फीसदी टूटकर 16,658.40 के स्तर पर बंद हुआ।
अलग-अलग सेक्टर पर नजर डालें तो बीते हफ्ते सभी सेक्टर लाल निशान में बंद हुए थे। निफ्टी मीडिया इंडेक्स 7.6 फीसदी गिरा था। वहीं PSU Bank इंडेक्स 5.7 फीसदी और Auto इंडेक्स 4.6 फीसदी टूटे थे।
पिछले हफ्ते 141 स्मॉलकैप स्टॉक ऐसे रहे जिनमें 10-22 फीसदी की गिरावट देखने को मिली। इसमें Tata Teleservices (Maharashtra), Aegis Logistics, Urja Global, Sadbhav Infrastructure Projects, Soril Infra Resources, Olectra Greentech, Indiabulls Housing Finance, Syncom Formulations, Gayatri Projects, GE T&D India, R Systems International, Bharat Road Network, Elgi Equipments, Brightcom Group, Cantabil Retail India के नाम शामिल है।
जबकि दूसरी तरफ Salasar Techno Engineering, Orient Bell, Garware Hi-Tech Films, Federal-Mogul Goetze, Vadilal Industries, Dixon Technologies, Forbes Gokak, Globus Spirits, Sunteck Realty में 8-18 फीसदी की तेजी देखने को मिली।
एक्सपर्ट्स से जानिए आगे कैसी रह सकती है बाजार की चाल
Motilal Oswal Financial Services के सिद्धार्थ खेमका का कहना है कि हालांकि शुक्रवार को बाजार में पुलबैक देखने को मिला लेकिन अगले कुछ दिनों में बाजार में उतार-चढ़ाव बने रहने की संभावना है। बाजार की नजरें जारी रूस-यूक्रेन संबंध पर बनी रहेगी। नियरटर्म में गुरुवार का 16200 का लेवल मजबूत सपोर्ट का काम कर सकता है। ट्रेडर्स को सलाह है कि भारी उतार-चढ़ाव की संभावना को देखते हुए सावधानी बनाए रखें। वहीं निवेशकों को सलाह होगी कि वह वर्तमान गिरावट में अपने पोर्टफोलियों में क्वालिटी ब्लूचिप स्टॉक्स को किश्तों में जोड़ने की रणनीति अपनाएं।
Religare Broking के अजित मिश्रा का कहना है कि बाजार में कारोबार करने वाले लोगों को शुक्रवार के एक दिन के ऊछाल को लेकर बहुत खुश होने की जरुरत नहीं है। हमें बाजार की दिशा को साफ होने का इंतजार करना चाहिए। अगर बाजार में और तेजी आती भी है तो 16,850-17,000 के स्तर पर निफ्टी के लिए तगड़ा रजिस्टेंस नजर आ रहा है।
जारी जियोपॉलिटिकल तनाव और कच्चे तेल की कीमतों में बढ़ोतरी बाजार को परेशान किए रखेगी। ऐसे में सलाह है कि जब तक बाजार में स्थिरता नहीं आती तब तक अपनी पोजिशन हल्की रखी और चुनिंदा क्वालिटी शेयरों पर दांव लगाए।