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IT Stocks: 2008 के बाद से सबसे बुरी स्थिति में आईटी स्टॉक्स, आगे भी इन कारणों से दिख रहा दबाव

IT Stocks: इस साल विदेशी निवेशकों ने भारतीय बाजार से जितनी निकासी की है, उसमें से 50 फीसदी को आईटी सेक्टर से है। मंदी की आशंका को देखते हुए इस साल विदेशी निवेशकों ने भारतीय आईटी सेक्टर से 900 करोड़ डॉलर से ज्यादा निकासी की है

अपडेटेड Dec 13, 2022 पर 1:43 PM
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IT Stocks: आईटी कंपनियों के शेयरों में इस साल भारी दबाव दिख रहा है। निवेशकों को आशंका है कि ग्रोथ में लंबे समय तक सुस्ती रहेगी। इसके चलते इसमें एक दशक के सबसे बड़े गिरावट की आशंका दिख रही है।

IT Stocks: आईटी कंपनियों के शेयरों में इस साल भारी दबाव दिख रहा है। निवेशकों को आशंका है कि ग्रोथ में लंबे समय तक सुस्ती रहेगी। इसके चलते इसमें एक दशक के सबसे बड़े गिरावट की आशंका दिख रही है। निफ्टी का आईटी इंडेक्स (Nifty IT Index) इस साल 2022 में 24 फीसदी से अधिक फिसला है। अब यह वर्ष 2008 के बाद से सबसे बुरी स्थिति में जाता दिख रहा है। वर्ष 2008 में वैश्विक मंदी के चलते यह करीब 55 फीसदी टूटा था। आईटी इंडेक्स में इस साल पिछले पांच वर्षों से जारी तेजी थम गई। पिछले पांच वर्षों में इसने सालाना 31 फीसदी का रिटर्न दिया है। इंडिविजुअल स्टॉक्स की बात करें तो विप्रो (Wipro), टेक महिंद्रा (Tech Mahindra), एलटीआईमाइंडट्री (LTIMindTree), एचसीएल टेक (HCL Tech), इंफोसिस (Infosys) और टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (Tata Consultancy Services- TCS) इस साल 12-45 फीसदी टूट चुके हैं। सबसे अधिक गिरावट विप्रो में रही और यह 45 फीसदी फिसला है।

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आईटी स्टॉक्स के लिए लंबी रहेगी सर्दियों का मौसम


ब्रोकरेज फर्म जेएम फाइनेंशियल सर्विसेज के मुताबिक विकसित देशों में आर्थिक सुस्ती की आशंका है। इन देशों को 90 फीसदी आईटी सर्विसेज निर्यात होता है और अब इस पर रिस्क दिख रहा है। अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने पिछले चार दशकों में सबसे सख्त मौद्रिक नीति अपनाई है जिसके चलते अमेरिकी अर्थव्यवस्था में मंदी आ सकती है। इसका बुरा असर भारतीय आईटी कंपनियों पर भी पड़ सकता है।

IT Stocks: 2008 के बाद से सबसे बुरी स्थिति में आईटी स्टॉक्स, आगे भी इन कारणों से दिख रहा दबाव

यूरोपीय देशों में भी मंदी की गहरी आशंका है। जेएम फाइनेंशियल के मुताबिक भारतीय आईटी कंपनियों के दूसरे सबसे बड़े मार्केट यूरोपीय जोन में मांग सुस्त रह सकती है। ब्रोकरेज फर्म ने यूरोप की मौजूदा स्थिति की तुलना वर्ष 2012 के यूरोजोन सॉवरेन डेट क्राइसिस से की है। आईटी स्टॉक्स पिछले साल के हाई लेवल से बहुत गिर चुके हैं लेकिन क्रेडिट सुईस सिक्योरिटीज इंडिया के एनालिस्ट्स इसमें और गिरावट की आशंका जता रहे हैं। पिछले हफ्ते क्रेडिट सुईस ने आशंका जताई कि अगर अमेरिका में मैक्रो स्थिति पर कमजोरी आती है तो यहां भी आईटी शेयरों में तेज गिरावट दिख सकती है।

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50% निकासी सिर्फ आईटी शेयरों से

इस साल विदेशी निवेशकों ने भारतीय बाजार से जितनी निकासी की है, उसमें से 50 फीसदी को आईटी सेक्टर से है। मंदी की आशंका को देखते हुए इस साल विदेशी निवेशकों ने भारतीय आईटी सेक्टर से 900 करोड़ डॉलर से ज्यादा निकासी की है। अब जेएम फाइनेंशियल और क्रेडिट सुईस ने आशंका जताई है कि भारतीय आईटी कंपनियों और उनके शेयरों के लिए सर्द मौसम लंबे समय तक रह सकता है।

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Moneycontrol News

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First Published: Dec 13, 2022 1:43 PM

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