भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) पिछले कुछ दिनों से अडानी ग्रुप के शेयरों में अपने निवेश को लेकर सुर्खियों में है। कई मीडिया रिपोर्टों में LIC के इस निवेश के डूबने की बात कही गई थी। हालांकि अब LIC ने खुद इस मामले में सामने आकर सफाई दी है। LIC ने बताया कि वह अडानी ग्रुप के शेयरों में निवेश करके नुकसान की नहीं, बल्कि 26,000 करोड़ रुपये के फायदे की स्थिति में है। एलआईसी ने सोमवार 30 जनवरी को जारी एक बयान में ये जानकारी दी। एलआईसी ने बताया कि उसने अडानी ग्रुप की सभी कंपनियों में मिलाकर कुल 30,127 करोड़ रुपये का निवेश किया है। शुक्रवार 27 जनवरी के बंद भाव पर, LIC के इस निवेश की वैल्यू 56,142 करोड़ रुपये थी।
इसका मतलब है कि LIC अगर अभी अडानी ग्रुप में किए अपने सभी निवेश को आज बेच दे तो उसे कुल 56,142 करोड़ रुपये मिलेंगे, जो उसके मूल निवेश से करीब 26,016 करोड़ रुपये अधिक है। यानी LIC अभी अडानी ग्रुप के शेयरों में 26,016 करोड़ रुपये के फायदे की स्थिति में है।
LIC ने यह भी बताया कि अडानी ग्रुप में जो उसने निवेश किया है, वह उसके कुल एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM) का सिर्फ 0.975% है। देश की सबसे बड़ी बीमा कंपनी ने यह भी जोर देकर बताया कि अडानी के सभी डेट सिक्योरिटीज की रेटिंग 'AA' और इससे अधिक है, जो निवेश के लिए बीमा नियामक इरडा (IRDAI) की तरफ से रखे शर्तों को पूरा करता है।
फिर क्यों आई LIC के पैसे डूबने की बात?
दरअसल शुक्रवार 27 जनवरी को अडानी ग्रुप की शेयर बाजार में सूचीबद्ध सभी कंपनियों के शेयरों में भारी गिरावट आई थी। कुछ कंपनियों में तो यह गिरावट 20% तक की थी। शेयरों का भाव गिरने से उन कंपनियों में जिन्होंने निवेश किया था, उनके निवेश की वैल्यू भी गिर गई।
उदाहरण के लिए, हिंडनबर्ग रिपोर्ट आने से पहले अडानी ग्रुप में LIC के निवेश की वैल्यू करीब 72,200 करोड़ रुपये थी। शुक्रवार 27 नवंबर को अडानी ग्रुप के शेयरों में तेज गिरावट के साथ यह निवेश की वैल्यू भी घटकर 56,000 करोड़ रुपये पर आई है। इससे LIC के निवेश की वैल्यू एक दिन में करीब 16,200 करोड़ रुपये घट गई। LIC के निवेश वैल्यू में आई यही गिरावट सुर्खियों में थी।
हालांकि यहां ध्यान देने वाली बात है कि निवेश की वैल्यू घटने से LIC अभी भी नुकसान या घाटे में नहीं है। LIC का अडानी ग्रुप में मूल निवेश करीब 30,000 करोड़ रुपये ही है। अडानी ग्रुप के शेयरों में तेजी से इसी निवेश की वैल्यू बढ़कर 72,000 करोड़ रुपये हो गई थी, जो अब घटकर 56,00 करोड़ के पास आ गई है। हालांकि इसके बावजूद LIC अभी भी अडानी ग्रुप में निवेश करके करीब 26,000 करोड़ रुपये के फायदे की स्थिति में है।