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RBI ने SGB 2020-21 सीरीज का किया रिडेम्प्शन, 5 साल में दिया दोगुने से ज्यादा मुनाफा

निवेशकों के लिए खुशखबरी। रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने Sovereign Gold Bond 2020-21 सीरीज VI का समय से पहले रिडेम्प्शन खोल दिया है। 2020 में 5,117 रुपये के दाम पर खरीदे गए ये बॉन्ड अब 10,610 रुपये प्रति यूनिट पर रिडीम हो रहे हैं। यानी सिर्फ 5 साल में निवेशकों को 107% से ज्यादा का फायदा मिल रहा है

अपडेटेड Sep 11, 2025 पर 14:20
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रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने Sovereign Gold Bond 2020-21 सीरीज VI का समय से पहले रिडेम्प्शन खोल दिया है।

RBI ने खोला रिडेम्प्शन का दरवाजा
रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने आज यानी 6 सितंबर 2025 को Sovereign Gold Bond (SGB) 2020-21 सीरीज VI का रिडेम्प्शन जारी कर दिया है।

कितना फायदा हुआ निवेशकों को?
SGB का रिडेम्प्शन प्राइस 10,610 रुपये प्रति यूनिट तय किया गया है। यह लॉन्च के समय के इश्यू प्राइस 5,117 रुपये से 107% ज्यादा है।

ये बॉन्ड कब जारी हुए थे?
ये बॉन्ड 8 सितंबर 2020 को जारी हुए थे। ठीक 5 साल बाद यानी अब निवेशकों को समय से पहले रिडेम्प्शन का मौका मिला है।

रिडेम्प्शन प्राइस कैसे तय हुआ?
यह प्राइस पिछले तीन कारोबारी दिनों (3, 4 और 5 सितंबर 2025) में IBJA के जारी सोने के क्लोजिंग प्राइस के एवरेज पर आधारित है।

SGB का पूरा पीरियड कितना होता है?
इन गोल्ड बॉन्ड्स का कुल पीरियड 8 साल होती है। लेकिन, 5 साल बाद निवेशक चाहें तो समय से पहले भी निकाल सकते हैं।

इंटरेस्ट की सुविधा भी मिलती है?
SGB निवेशकों को 2.5% सालाना ब्याज मिलता है। यह ब्याज हर 6 महीने में सीधे बैंक अकाउंट में क्रेडिट होता है।

टैक्स की क्या स्थिति है?
इन बॉन्ड्स पर मिलने वाला ब्याज टैक्सेबल है।
लेकिन, रिडेम्प्शन पर होने वाला कैपिटल गेन टैक्स से छूट है।
लंबे समय के लिए ट्रांसफर करने पर इंडेक्सेशन बेनिफिट भी मिलता है।

SGB क्यों लाया गया था?
भारत सरकार ने नवंबर 2015 में SGB योजना शुरू की थी, ताकि लोग फिजिकल गोल्ड खरीदने की बजाय इन बॉन्ड्स में निवेश करें।

इससे क्या फायदा होता है?
सोने का इंपोर्ट कम होता है
घरों में सोने की जमा करने की आदत घटती है
और लोगों की बचत निवेश में लगती है

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