8th Pay Commission: केंद्र सरकार के कर्मचारियों और पेंशनर्स की सैलरी और भत्तों को लेकर हाल ही में एक अहम बैठक हुई। नेशनल काउंसिल ज्वाइंट कंसल्टेटिव मशीनरी (NC JCM) स्टाफ साइड ने कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग (DoPT) के सचिव से मुलाकात कर 8वें वेतन आयोग से जुड़ी अपनी मांगे रखीं। यह आयोग जनवरी 2026 से लागू होने की संभावना है, जिससे सरकारी कर्मचारियों की सैलरी और पेंशन में बड़ा बदलाव देखने को मिल सकता है।
कर्मचारी एसोसिएशन ने रखी अपनी मांग
यह एक ऐसा संगठन है, जो केंद्र सरकार के कर्मचारियों की तरफ से सैलरी, भत्तों और पेंशन से जुड़े मुद्दों पर सरकार से बातचीत करता है। इस बैठक में महंगाई भत्ता (DA) और महंगाई राहत (DR) जैसे महत्वपूर्ण मुद्दों पर भी चर्चा हुई।
8वें वेतन आयोग को लेकर केंद्रीय कर्मचारियों की प्रमुख मांगें
रिवाइज पे-स्केल – सभी सरकारी कर्मचारियों, रक्षा और अर्धसैनिक बलों, ग्रामीण डाक सेवकों आदि के वेतन, भत्तों और पेंशन में सुधार किया जाए।
2026 से नया वेतनमान लागू हो – सैलरी और भत्तों का नया ढांचा 1 जनवरी 2026 से लागू किया जाए।
कॉस्ट ऑफ लिविंग के अनुसार न्यूनतम मिनिमम सैलरी – परिवार की जरूरतों को देखते हुए न्यूनतम वेतन बढ़ाया जाए और इसे मॉडर्न लाइफस्टाइल के हिसाब से तय किया जाए।
निचले स्तर के वेतन ग्रेड को मिलाया जाए – वेतन असमानता को कम करने के लिए लेवल 1 और 2, लेवल 3 और 4, तथा लेवल 5 और 6 को जोड़ा जाए।
प्रमोशन के मौके बढ़ाए जाएं – MACP में सुधार कर कम से कम 5 प्रमोशन कर्मचारियों को दी जाए।
महंगाई भत्ता (DA) और महंगाई राहत (DR) को बेसिक सैलरी से जोड़ा जाए – ताकि कर्मचारियों को महंगाई से राहत मिल सके।
7वें वेतन आयोग की समस्याएं हल की जाएं – पिछली बार की विसंगतियों को दूर किया जाए।
पेंशन और रिटायरमेंट फायदों में सुधार किया जाए – पेंशन में हर 5 साल में बढ़ोतरी हो और पुराने और नए पेंशनर्स को एक सामान फायदा मिले।
पुरानी पेंशन योजना (OPS) बहाल की जाए – 1 जनवरी 2004 के बाद भर्ती हुए कर्मचारियों को भी पुरानी पेंशन योजना का फायदे मिले।
हेल्थ सर्विस बेहतर की जाएं - CGHS यानी केंद्रीय स्वास्थ्य योजना को सुधारकर कैशलेस इलाज की सुविधा को बढ़ाया जाए।
बच्चों की शिक्षा भत्ता (CEA) बढ़ाया जाए – इसे पोस्ट ग्रेजुएशन के स्तर तक लागू किया जाए।
कर्मचारियों के लिए ब्याज-मुक्त लोन की व्यवस्था हो – पहले जो ब्याज-मुक्त अग्रिम (Interest-Free Advance) दिए जाते थे, उन्हें फिर से शुरू किया जाए।
रेलवे कर्मचारियों के लिए जोखिम भत्ता – कठिन परिस्थितियों में काम करने वाले रेलवे स्टाफ को विशेष जोखिम और कठिनाई भत्ता मिले।
रक्षा नागरिक कर्मचारियों के लिए स्पेशल भत्ता – जो कर्मचारी हथियार, गोला-बारूद, खतरनाक रसायन आदि के संपर्क में रहते हैं, उन्हें जोखिम भत्ता और बीमा कवरेज दिया जाए।
NC JCM स्टाफ साइड ने इन सभी मांगों को 8वें वेतन आयोग की शर्तों (ToR) में शामिल करने के लिए सरकार को प्रस्ताव भेज दिया है। जल्द ही एक स्थायी समिति की बैठक होगी, जिसमें अंतिम निर्णय लिया जाएगा। अगर सरकार इन सिफारिशों को मान लेती है, तो 2026 से सरकारी कर्मचारियों और पेंशनर्स की सैलरी और पेंशन में बड़ा इजाफा देखने को मिलेगा। सरकार इस पर क्या फैसला लेगी, इसका इंतजार पूरे देश के सरकारी कर्मचारियों को है।