इंटरनेशनल क्रेडिट कार्ड से खर्च पर Tax Collected at source (TCS) को लेकर सरकार का रुख स्पष्ट नहीं होने से काफी कनफ्यूजन की स्थिति बन गई है। सरकार ने इस साल 16 मई को पहली बार इस बारे में ऐलान किया। फिर, 28 जून को इसे वापस लेने का ऐलान किया। फाइनेंस मिनिस्ट्री के 28 जून के ऐलान से यह साफ हो गया है कि अगर यूजर इंडिया से बाहर है तो क्रेडिट कार्ड से इंटरनेशनल ट्रांजेक्शन पर टीसीएस लागू नहीं होगा। लेकिन, इस बात को लेकर तस्वीर साफ नहीं है कि इडिया में क्रेडिट कार्ड के इंटरनेशनल ट्रांजेक्शन पर TCS का नियम लागू होगा या नहीं।
फाइनेंस मिनिस्ट्री ने 16 मई को इंटरनेशनल क्रेडिट कार्ड ट्रांजेक्शन को RBI की लिबरलाइज्ड रेमिटेंस स्कीम (LRS) के तहत लाने का ऐलान किया। उसने कहा कि तुरंत प्रभाव से ऐसे ट्रांजेक्शन पर TCS लागू होगा। फिर, 19 मई को सरकार ने कहा कि एक फाइनेंशियल ईयर में डेबिट और क्रेडिट पर हुए 7 लाख रुपये तक के ट्रांजेक्शन को TCS से छूट मिलेगी। आखिर में 28 जून को सरकार ने 16 मई के अपने फैसले को पलट दिया। उसने कहा कि क्रेडिट कार्ड ट्रांजेक्शन LRS के तहत नहीं आएंगे। इसलिए इन पर टीसीएस लागू नहीं होगा।
लैंग्वेज हो सकती है कनफ्यूजन की वजह
ऐसा लगता है कि मौजूदा कनफ्यूजन की असल वजह 18 मई को FAQ और 28 जून को फाइनेंस मिनिस्ट्री की तरफ से जारी प्रेस रिलीज की लैंग्वेज है। दोनों में 'विदेश में इंटरनेशनल क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल' के शब्दों का जिक्र किया गया है। 20 मई को @mygovindia की तरफ से जारी ट्वीट के मुताबिक इंडिया में फॉरेन गुड्स और सर्विसेज के पेमेंट पर टीसीएस लागू नहीं होता है। अगर हम इन दोनों जानकारियों को ध्यान से पढ़ते हैं तो इंटरनेशनल क्रेडिट कार्ड पर इंडिया में हुए ट्रांजेक्शन और इंडिया से बाहर हुए ट्रांजेक्शन पर TCS के नियम अलग-अलग हैं।
अब सवाल है कि आखिर में क्या सही है? TecnoFino के फाउंडर सुमंत मंडल के मुताबिक, यह साफ है कि इंटरनेशनल क्रेडिट कार्ड पर विदेश या इंडिया में हुआ ट्रांजेक्शन TCS के दायरे में नहीं आएगा। 16 मई को सरकार के नोटिफिकेशन में फॉरेन एक्सचेंज मैनेजमेंट रूल्स, 2000 में संशोधन किया गया है। इसके लिए इसके रूल 7 को हटाया गया है। 28 जून को इस फैसले को पलट दिया गया। संक्षेप में मतलब यह है कि रूस 7 को फिर से नियम में शामिल कर लिया गया।
रूल 7 LRS से क्रेडिट कार्ड ट्रांजेक्शन को टीसीएस से छूट देता है। इस भारत के गज में भी नोटिफाय किया गया है। मंडल ने कहा कि इस रूल में इंडिया से बाहर क्रेडिट कार्ड ट्रांजेक्शन की बात कही गई है। इसकी वजह यह है कि तब इंडिया में रहते हुए फॉरेन ट्रांजेक्शन सामान्य नहीं था। लेकिन, इसका मतलब इंटरनेशनल क्रेडिट कार्ड पर सभी तरह के ट्रांजेक्शन से था, चाहे वह इंडिया में हो या विदेश में।