Sovereign Gold Bond Scheme : अगर आप सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड स्कीम के ज़रिए सोने में निवेश करना चाहते हैं तो एक बेहतरीन मौका है। सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड स्कीम 2022-23 की अगली किश्त के लिए इश्यू प्राइस 5,611 रुपये प्रति ग्राम तय किया गया है। इस स्कीम की चौथी सीरीज आज यानी 6 मार्च से सब्सक्रिप्शन के लिए खुल रही है और निवेशक इसमें 5 दिनों तक निवेश कर सकेंगे, यानी इसकी अंतिम तारीख 10 मार्च है। भारतीय रिजर्व बैंक ने 3 मार्च को एक बयान में कहा कि गोल्ड बॉन्ड की कीमत 5,611 रुपये प्रति ग्राम तय की गई है।
भारतीय रिजर्व बैंक भारत सरकार की ओर से सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड (SGB) जारी करता है। यह स्कीम नवंबर 2015 में शुरू की गई थी। इसका मकसद फिजिकल गोल्ड की मांग को कम करना और घरेलू बचत का एक हिस्सा सोने की खरीद के लिए इस्तेमाल को बढ़ावा देना है।
डिजिटल पेमेंट पर 50 रुपये का डिस्काउंट
सरकार ने आरबीआई के परामर्श से निवेशकों को डिस्काउंट देने का फैसला भी किया है। अगर आप इसे खरीदते समय डिजिटल पेमेंट करते हैं तो आपको प्रति ग्राम 50 रुपये तक का डिस्काउंट मिलेगा। आरबीआई ने कहा, 'ऐसे निवेशकों के लिए गोल्ड बॉन्ड का इश्यू प्राइस 5,561 रुपए प्रति ग्राम सोना होगा।'
निवेश से पहले जान लें जरूरी बातें
1. बांड बैंकों, स्टॉक होल्डिंग कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (SHCIL), नामित डाकघरों और मान्यता प्राप्त स्टॉक एक्सचेंजों - नेशनल स्टॉक एक्सचेंज और बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज के माध्यम से बेचे जाएंगे।
2. फॉरेन एक्सचेंज मार्केट एक्ट (FEMA) के तहत कोई भी निवासी सॉवरेन गोल्ड बांड में निवेश के लिए पात्र है। इनके अलावा, नाबालिग की ओर से उनके संबंधित अभिभावक द्वारा भी निवेश किया जा सकता है।
3. एनआरआई सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड में निवेश नहीं कर सकते हैं, लेकिन उन्हें रेसिडेंट इन्वेस्टर के नॉमिनी के रूप में इन बॉन्डों को रखने की अनुमति है।
4. इन गोल्ड बॉन्ड की अवधि आठ साल के लिए होगी, जिसमें पांचवें साल के बाद समय से पहले भुनाने का विकल्प होगा, जिस तारीख को ब्याज देय होगा।
5. बॉन्ड की कीमत 999 शुद्धता वाले सोने के सिंपल एवरेज क्लोजिंग प्राइस के आधार पर रुपये में तय की जाती है। बॉन्ड को 1 ग्राम की मूल इकाई के साथ सोने के ग्राम (एस) के गुणकों में दर्शाया गया है। बॉन्ड को 1 ग्राम की बेसिक यूनिट के साथ सोने के ग्राम (s) के मल्टीपल में दर्शाया गया है।
6. निवेशकों को कम से कम 1 ग्राम सोना खरीदना होगा। वहीं, प्रत्येक वित्तीय वर्ष में सब्सक्रिप्शन की मैक्सिमम लिमिट इंडिविजुअल के लिए 4 किलोग्राम तय की गई है। वहीं, हिंदू अनडिवाइडेड फैमिली (HUF) के लिए यह लिमिट 4 kg और ट्रस्टों और इसी तरह की एंटिटी के लिए 20 kg तय की गई है।
7. सोने के सिक्कों और बार के विपरीत गोल्ड बॉन्ड पर जीएसटी नहीं लगाया जाता। डिजिटल या फिजिकल रूप में सोने की खरीद पर 3 फीसदी जीएसटी लगता है, लेकिन SGB के लिए यह लागू नहीं होता है। इसमें मेकिंग चार्ज भी नहीं होता है।
8. सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड फिजिकल नहीं होते हैं और इसलिए इसमें स्टोरेज की आशंका भी नहीं होती। इसलिए निवेश के मामले में इसे अधिक सुरक्षित माना जाता है।
9. नो-योर-कस्टमर (KYC) से जुड़े नियम फिजिकल गोल्ड खरीदने के समान होंगे।
10. SGB खरीदने के लिए आपको मतदाता पहचान पत्र, आधार कार्ड/पैन कार्ड या पासपोर्ट जैसे दस्तावेजों की आवश्यकता होगी।