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उतार-चढ़ाव वाले बाजार में आपको कहां निवेश करना चाहिए? एक्सपर्ट्स ने SIP और लॉर्जकैप स्टॉक्स में निवेश की दी सलाह

लगातार छह सेशन में गिरने के बाद 27 अक्टूबर को मार्केट में रौनक लौट आई। लेकिन, Nifty पिछले महीने 20,200 के अपने ऑल-टाइम हाई से करीब 1150 प्वाइंट्स अंक गिर चुका है। प्राइस करेक्शन लंबे समय तक जारी रहने की उम्मीद नहीं दिख रही। इसलिए इनवेस्टर्स को एकमुश्त निवेश करने की जगह धीरे-धीरे मार्केट में पैसे लगाने चाहिए। ऐसा करना लंबी अवधि के निवेशकों के लिए बहुत फायदेमंद रहेगा

Curated By: Rakesh Ranjanअपडेटेड Oct 28, 2023 पर 9:25 AM
उतार-चढ़ाव वाले बाजार में आपको कहां निवेश करना चाहिए? एक्सपर्ट्स ने SIP और लॉर्जकैप स्टॉक्स में निवेश की दी सलाह
ग्लोबल इकोनॉमी जहां मुश्किल में है वही इंडिया में चीजें बेहतर दिख रही हैं। इंडियन इकोनॉमी की ग्रोथ अच्छी है और कंपनियों के प्रॉफिट में अच्छा इजाफा देखने को मिला है। हाउसिंग सेक्टर में निवेश फिर से शुरू हो गया है। बैंकों की बैलेंसशीट मजबूत दिख रही है। मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में गतिविधियां बढ़ी हैं। यहां तक कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था में भी सुधार के संकेत दिख रहे हैं।

स्टॉक मार्केट में आई गिरावट ने निवेशकों को डराया है। हालांकि, लगातार छह सेशन में गिरने के बाद 27 अक्टूबर को मार्केट में रौनक लौट आई। लेकिन, Nifty पिछले महीने 20,200 के अपने ऑल-टाइम हाई से करीब 1150 प्वाइंट्स अंक गिर चुका है। निवेशकों के मन में सबसे बड़ा सवाल यह चल रहा है कि क्या मार्केट में यह गिरावट जारी रहेगी? इस सवाल का सही जवाब देना किसी के लिए मुमकिन नहीं है। फिर भी, मनीकंट्रोल ने इनवेस्टर्स की मुश्किल आसान करने के लिए इंडिया के टॉप फंड मैनेजर्स से बात की। हमारा मकसद यह जानना था कि इनवेस्टर्स को स्टॉक्स मार्केट और इनवेस्टमेंट को लेकर किस तरह का एप्रोच रखना चाहिए। हमने खासकर नए रिटेल इनवेस्टर्स को ध्यान में रख टॉप फंड मैनेजर्स से बातचीत की। अक्सर नए रिटेल इनवेस्टर्स मार्केट में आई गिरावट से घबरा जाते हैं। कई बार तो डर कर अपने स्टॉक्स कम प्राइसेज पर बेचकर हमेशा के लिए स्टॉक मार्केट से नाता तोड़ लेते हैं।

मुश्किल वक्त में भी इंडिया का प्रदर्शन बेहतर

टॉप फंड मैनेजर्स का कहना है कि सबसे पहले तो इनवेस्टर्स को इंडियन इकोनॉमी की ग्रोथ स्टोरी में भरोसा रखना होगा। इस साल मार्च से सितंबर के दौरान स्टॉक मार्केट में शानदार तेजी देखने को मिली। खासकर स्मॉलकैप और मिडकैप स्टॉक्स की तेजी ने लोगों को हैरान कर दिया। यह भी ऐसे माहौल में जब ग्लोबल इकोनॉमी कई तरह की मुश्किल में दिखी। अमेरिका में बढ़ता इंटरेस्ट रेट, क्रूड ऑयल की ऊची कीमतों और तमाम कोशिशों के बावजूद इनफ्लेश के कंट्रोल में नहीं आने को बड़े रिस्क के रूप में देखा गया।

इंडिया के फंडामेंटल्स मजबूत

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