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Ground Report: अब कहां जाएं हम...आंखों में आंसू, लंबी कतार और खाने की आस, दिल्ली में सैलाब से जूझती जिंदगी

Delhi Flood Ground Report : राहत शिविरों की ओर जाते लोगों के चेहरों पर बेबसी थी। इन्हें अपनी छोटी सी दुनिया उजड़ने का डर सता रहा है, लेकिन इसके साथ ही उम्मीद भी थी कि ये कुदरती कहर बीत जाएगा। यमुना का जलस्तर बढ़ने से पानी अब तेजी से दिल्ली के इलाकों में भरता जा रहा है। फिलहाल राहत के आसार नहीं हैं

Rajat Kumarअपडेटेड Sep 05, 2025 पर 2:38 PM
Ground Report: अब कहां जाएं हम...आंखों में आंसू, लंबी कतार और खाने की आस, दिल्ली में सैलाब से जूझती जिंदगी
Delhi Flood Ground Report : दिल्ली में बाढ़ के कारण हजारों लोगों को अपना घर छोड़ना पड़ा है।

हाथों में बर्तन लिए खाने के ट्रक के पीछे दौड़ती महिलाएं और बच्चे, भंयकर गर्मी में प्लास्टिक के चादर तले दोपहरी काटते बुजर्ग और अपने बड़े परिवार को एक छोटे टेंट में समेटने की कोशिश करते युवा...राजधानी दिल्ली में बाढ़ पीड़ितों के लिए लगे रिलीफ कैंप के ये नजारे बताने के लिए काफी हैं कि लोग बेबस हैं और संघर्ष कर रहे है। बाढ़ के कारण हजारों लोग अपना घर छोड़ रिलीफ कैंप में रहने के लिए मजबूर हैं। दिल्ली के मयूर विहार में बने रिलीफ कैंप में 2.5 हजार से ज्यादा लोग रह रहे हैं।

खाने के लिए लंबी कतारें

आसमान से बरसती आफत और घरों में आता बाढ़ का पानी....राजधानी दिल्ली में यमुना खतरे के निशान से उपर बह रही है। यमुना के उफान ने खादर क्षेत्र के लोगों को अपने घर छोड़ने पर मजबूर कर दिया है। कोई मां अपने मासूम बच्चे का हाथ थामे हुए है, तो कोई बुजुर्ग कांपते कदमों के सहारे नए आशियाने की तलाश में है। आंसू भरी आंखों से घर की चौखट को छोड़ते लोगों के दिल में बस यही दर्द है कि पता नहीं कब वापस लौट पाएंगे। जिस खाने को लेकर आम लोग आश्वसत रहते हैं, वहां पर जा पता चला कि कई लोगों को वो भी मुश्किल से नसीब हो रहा है। उन्हें गर्मी में काफी देर तक लंबी कतारों में खड़ा होना पड़ रहा है। जो तस्वीरें कैमरे में कैद हुई हैं, उनमें लोगों के चेहरे पर मायूसी साफ देखने को मिली। दिन हो या रात, लोग बस कतार में खड़े होकर इंतजार कर रहे हैं।

इस रिलीफ कैंप में ही अपने परिवार के साथ रह रहे सुमित ने बताया कि, इस छोटे से टेंट में हम 13 लोग रह रहे हैं। मौसम को देखकर हम खाना भी बना पाते हैं। बारिश आता है तो यहां सबकुछ भीग जाता है और उमस वाली गर्मी में दिन काटना मुश्किल है। हम पंखा तक नहीं लगा सकते यहां। बस उम्मीद कर रहे हैं जल्द से जल्द चीजें सही हो जाएं और हम अपने घरों को लौट जाएं। वहीं इस कैंप में रह रही एक महिला ने मनीकंट्रोल से बात करते हुए बताया कि, मेरा पूरा घर बाढ़ के पानी में डूब गया है। हमारा कितना सामान बह गया है।

लगातार बढ़ रहा यमुना का पानी

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