LIC Q2 Results: देश की सबसे बड़ी लाइफ इंश्योरेंस कंपनी LIC के लिए सितंबर तिमाही निराशानजनक रही। सितंबर तिमाही में इसका नेट प्रॉफिट 50 फीसदी गिर गया। एक्सचेंज फाइलिंग में 10 नवंबर को दी गई डिटेल्स के मुताबिक सितंबर तिमाही में एलआईसी को 7925 करोड़ रुपये का नेट प्रॉफिट हासिल हुआ जो एक साल पहले की समान अवधि में 15,952 करोड़ रुपये की तुलना में करीब आधा फीसदी है। हालांकि एलआईसी ने एक प्रेस रिलीज जारी कर सफाई भी दी है कि क्योंकि इस साल के सितंबर तिमाही में नेट प्रॉफिट की तुलना पिछले साल की समान तिमाही में हुए नेट प्रॉफिट से नहीं की जा सकती है।
क्या वजह बताई LIC ने और इससे क्या पड़ा फर्क
एलआईसी ने कहा कि पिछले साल सितंबर में ट्रांसफर ऑफ अमाउंट (नेट ऑफ टैक्स) के लिहाज से इसने अपनी अकाउंटिंग पॉलिसी में बदलाव किया था। एलआईसी के मुताबिक सितंबर छमाही में 13,768 (नेट ऑफ टैक्स) ट्रांसफर किए गए। इसमें से जून तिमाही में 7,491 करोड़ रुपये और सितंबर तिमाही में 6,277 करोड़ रुपये ट्रांसफर किए गए थे। इस वजह से सितंबर 2023 तिमाही के नेट प्रॉफिट की तुलना पिछले साल से नहीं की जा सकती है।
LIC के रिजल्ट्स की खास बातें
सितंबर तिमाही में एलआईसी का नेट प्रॉफिट सालाना आधार पर 50 फीसदी गिरकर 7925 करोड़ रुपये पर आ गया। इसका दौरान नेट प्रीमियम इनकम भी 19 फीसदी गिरकर 1.07 लाख करोड़ रुपये पर आ गया। वहीं ग्रॉस एनपीए 5.60 फीसदी से गिरकर 2.43 फीसदी पर आ गया लेकिन नेट एनपीए में कोई बदलाव नहीं हुआ। वैल्यू ऑफ न्यू बिजनेस (VNB) की बात करें तो सितंबर छमाही में सालाना आधार पर यह 3677 करोड़ रुपये से गिरकर 3304 करोड़ रुपये पर आ गया। हालांकि वीएनबी मार्जिन इस दौरान 14.6 फीसदी पर बना रहा। इसे लेकर एलआईसी के चेयरमैन सिद्धार्थ मोहंती ने कहा कि कॉम्पटीशन, प्रोडक्ट मिक्स में बदलाव और रेट में बदलाव के चलते वीएनबी मार्जिन पर असर पड़ा।
हालांकि सितंबर तिमाही में निवेश से आय सालाना आधार पर 84,103 करोड़ रुपये से बढ़कर 93,942 करोड़ रुपये पर पहुंच गया और सॉल्वेंसी रेश्यो 1.88 फीसदी से थोड़ा सा सुधरकर 1.90 फीसदी पर पहुंच गया। पहले साल का प्रीमियम भी सितंबर तिमाही में सालाना आधार पर 9142 करोड़ रुपये से बढ़कर 9988 करोड़ रुपये पर पहुंच गया और नेट कमीशन 5807 करोड़ रुपये से 6077 करोड़ रुपये पर पहुंच गया। अब ग्रुप बिजनेस की बात करें तो एलआईसी की सितंबर छमाही में टोटल प्रीमियम इनकम 1.02 लाख करोड़ रुपये से गिरकर 70,977 करोड़ रुपये पर आ गई। इसे लेकर मोहंती ने कहा कि वित्त वर्ष 2024 की बाकी तिमाहियों में अच्छी ग्रोथ रहेगी। एलआईसी का एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM) 10.47 फीसदी बढ़कर 42.93 लाख करोड़ रुपये से 47.43 लाख करोड़ रुपये पर पहुंच गया।