सरकार ने सोना, चांदी, कीमती और कम कीमती रत्नों, करेंसी, एंटीक और कई अन्य सामानों को कंट्रोल्ड डिलिवरी (कस्टम्स) रेगुलेशंस, 2022 के तहत डाल दिया है। इसका उद्देश्य ऐसे सामानों की शिपमेंट में लगे लोगों का पता लगाना है।
सरकार ने सोना, चांदी, कीमती और कम कीमती रत्नों, करेंसी, एंटीक और कई अन्य सामानों को कंट्रोल्ड डिलिवरी (कस्टम्स) रेगुलेशंस, 2022 के तहत डाल दिया है। इसका उद्देश्य ऐसे सामानों की शिपमेंट में लगे लोगों का पता लगाना है।
सरकार ने इस संबंध में एक नोटिफिकेशन जारी कर दिया है। इस लिस्ट में नशीले पदार्थ, साइकोट्रॉपिक सब्सटैंसेस, रसायन, नियंत्रित तत्व और उनके विकल्प, शराब और अन्य नशीले पेय, नकली करेंसी, सिगरेट, तम्बाकू और तम्बाकू उत्पाद और वन्यजीव उत्पाद शामिल हैं।
संदिग्ध शिपमेंट की डिलिवरी को कैसे मिलेगी मंजूरी
नियमों के तहत, निर्धारित राजस्व विभाग दूसरे देशों के सक्षम अधिकारियों के साथ परामर्श के साथ ऐसी संदिग्ध शिपमेंट के आयात और निर्यात की कंट्रोल्ड डिलिवरी को मंजूरी दे सकता है।
जरूरत पड़ने पर कस्टम अधिकारी उक्त सामानों की खेप निशान लगा सकता है या ट्रैकिंग डिवाइस लगा सकता है और उस व्यक्ति तक ऐसे सामान की डिलिवरी को पूरा करा सकता है। इससे इस अपराध में शामिल व्यक्ति की पहचान की जा सकती है।
72 घंटे के बाद नहीं ले सकते मंजूरी
अगर कस्टम अधिकारी को ऐसी कंट्रोल्ड डिलिवरी के बारे में पहले मंजूरी नहीं मिल पाती है, तो अधिकारी को इसके तुरंत बाद मंजूरी लेनी चाहिए लेकिन इस डिलिवरी के 72 घंटे के बाद ऐसा नहीं होना चाहिए।
नोटिफिकेशन के मुताबिक, यदि ऐसी डिलिवरी पूरी होने से पहले टर्मिनेट हो जाती है तो अधिकारी को सामान्य स्थिति के आधार पर कार्रवाई करनी चाहिए।
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