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बढ़ती ब्याज दरों से घर खरीदारों का सेंटिमेंट हो सकता है खराब - एक्सपर्ट्स

कुछ रियल एस्टेट जानकारों का कहना है कि इस समय रियल एस्टेट सेक्टर रेड जोन में है। ऐसे में रेपो रेट में बढ़ोतरी से होम लोन की ब्याज दरों में बढ़ोतरी होती नजर आएगी

MoneyControl Newsअपडेटेड Jun 08, 2022 पर 3:36 PM
बढ़ती ब्याज दरों से घर खरीदारों का सेंटिमेंट हो सकता है खराब - एक्सपर्ट्स
आरबीआई ने टियर 1 अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक से मिलने वाले इंडिविजुअल हाउसिंग लोन की लिमिट 30 लाख रुपये से बढ़ाकर 60 लाख रुपये कर दी है

आज आई आरबीआई पॉलिसी में रेपो रेट में 0.50 फीसदी की बढ़ोतरी कर दी गई है। रियल एस्टेट मार्केट के जानकारों का कहना है कि रेपो रेट में यह बढ़ोतरी अनुमान के अनुरुप रही है। वहीं को-ऑपरेटिव बैंकों के बारे में किए गए आरबीआई के ऐलान का घर खरीदारों और रियल एस्टेट डेवलपर्स दोनों पर प्रभाव पड़ेगा।

आरबीआई ने आज रेपो रेट को बढ़ाकर 4.9 फीसदी कर दिया है। यह कदम बढ़ती महंगाई से निपटने के लिए किया गया है। गर्वनर शक्तिकांता दास ने यह भी कहा कि इंडिविजुअल हाउसिंग लोन के लिए शहरी और ग्रामीण सहकारी बैंकों की लोन देने की लिमिट में 100 फीसदी से ज्यादा की बढ़ोतरी की गई है। देश में सस्ते घरों की बढ़ती मांग को देखते हुए यह कदम उठाया गया है।

आरबीआई ने टियर 1 अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक से मिलने वाले इंडिविजुअल हाउसिंग लोन की लिमिट 30 लाख रुपये से बढ़ाकर 60 लाख रुपये कर दी है जबकि टियर 2 अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक के हाउसिंग लोन की लिमिट 70 लाख रुपये से बढ़ाकर 1.40 करोड़ रुपये करने का ऐलान किया है।

100 करोड़ रुपये से कम नेटवर्थ वाले रूरल को-ऑपरेटिव बैंक की इंडिविजुअल हाउसिंग लोन की सीमा 20 लाख रुपये से बढ़ाकर 50 लाख रुपये कर दी गई है। वहीं, 100 करोड़ रुपये से ज्यादा के नेटवर्थ वाले रूरल को-ऑपरेटिंग बैंकों की इंडिविजुअल हाउसिंग लोन सीमा 30 लाख रुपये से बढ़ाकर 75 लाख रुपये कर दी गई है।

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