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शर्तें नहीं पूरी करने की वजह से इंटरेस्ट फ्री लोन का पूरा लाभ नहीं उठा पाएंगे राज्य

बजट में पूंजीगत खर्चों के लिए राज्यों को आवंटित लोन का पूरा-पूरा इस्तेमाल इसलिए नहीं हो पाएगा, क्योंकि कुछ राज्यों ने आर्थिक सुधार संबंधी कुछ शर्तों को पूरा नहीं किया है। राज्यों को आवंटित कुल 1.3 लाख करोड़ में से 1 लाख करोड़ केंद्रीय टैक्स और ड्यूटी के तौर पर दिए जाएंगे। बाकी रकम आर्थिक सुधारों से संबंधित है

MoneyControl Newsअपडेटेड Aug 17, 2023 पर 7:05 PM
शर्तें नहीं पूरी करने की वजह से इंटरेस्ट फ्री लोन का पूरा लाभ नहीं उठा पाएंगे राज्य
सरकार ने इस वित्त वर्ष में अब तक 21 राज्यों की विभिन्न पूंजीगत परियोजनाओं के लिए 88,884 करोड़ के इंटरेस्ट फ्री लोन को मंजूरी दी है।

बजट में पूंजीगत खर्चों के लिए राज्यों को आवंटित इंटरेस्ट-फ्री लोन का पूरा इस्तेमाल फाइनेंशियल ईयर 2024 में नहीं हो पाएगा। एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने बताया कि फाइनेंशियल ईयर 24 में इस लोन का 20% हिस्सा इस्तेमाल नहीं होने के आसार हैं।

अधिकारी ने नाम जाहिर नहीं किए जाने की शर्त पर मनीकंट्रोल (Moneycontrol) को बताया, 'मुझे लगता है कि इस फंड का इस्तेमाल पिछले साल के अनुपात में ही होगा।' केंद्र सरकार ने फाइनेंशियल ईयर 2023 में राज्यों को बिना ब्याज के 1 लाख करोड़ का लॉन्ग टर्म लोन आवंटित किया था। हालांकि, 81,195 करोड़ रुपये का ही इस्तेमाल किया जा सका।

केंद्र सरकार पूंजी निवेश के लिए विशेष सहायता स्कीम के तहत राज्यों को बिना ब्याज के लोन देती है। चूंकि ये लोन फाइनेंशियल ईयर 2024 के लिए तय 10 लाख करोड़ के रिकॉर्ड पूंजीगत खर्च का अहम हिस्सा हैं, लिहाजा अगर राज्य इस कर्ज का पूरा-पूरा इस्तेमाल नहीं करते हैं, तो इससे बजट में पूंजीगत खर्चों के लिए तय टारगेट पर असर पड़ सकता है।

पूंजीगत खर्चों के लिए राज्यों को आवंटित इस लोन का पूरा-पूरा इस्तेमाल इसलिए नहीं हो पाएगा, क्योंकि कुछ राज्यों ने आर्थिक सुधार संबंधी कुछ शर्तों को पूरा नहीं किया है। राज्यों को आवंटित कुल 1.3 लाख करोड़ में से 1 लाख करोड़ केंद्रीय टैक्स और ड्यूटी के तौर पर दिए जाएंगे।

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