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सरकार ने गन्ने के जूस से एथनॉल बनाने पर लगाई रोक, जारी हुआ नोटिफिकेशन

सीएनबीसी-आवाज़ के लक्ष्मण रॉय ने कहा कि सरकार ने 2023-24 के लिए गन्ने के जूस से एथनॉल बनाने पर रोक लगाने का फैसला लिया है। सरकार ने इस बारे में नोटिफिकेशन भी जारी कर दिया है। उन्होंने कहा कि फैसले से करीब 21.4 लाख टन चीनी के बराबर एथनॉल का डायवर्जन रुकेगा

Lakshman Royअपडेटेड Dec 07, 2023 पर 4:30 PM
सरकार ने गन्ने के जूस से एथनॉल बनाने पर लगाई रोक, जारी हुआ नोटिफिकेशन
पिछले साल के मुकाबले इस साल चीनी उत्पादन में 8% कमी का अनुमान है। इसलिए चीनी की संभावित किल्लत रोकने के लिए सरकार ने ये कदम उठाया है

चीनी महंगी ना हो, इसके लिए सरकार ने गन्ने के जूस से एथनॉल बनाने पर रोक लगाने का फैसला लिया। इस बारे में सरकार ने नोटिफिकेशन भी जारी किया है। साल 2023-24 के लिए ये रोक लगाई गई है। इस रोक के फैसले से करीब 21.4 लाख टन चीनी के बराबर एथनॉल का डायवर्जन रुकेगा। माना जा रहा है कि इलेक्शन ईयर में चीनी के दाम पर नियंत्रण रखने के लिए सरकार ने ये कदम उठाया है। हालांकि कंपनियों के लिए बड़ा निगेटिव है। चीनी स्टॉक्स को इससे बड़ा झटका लगा है। लगता है कि बाजार इसके लिए तैयार था जिसका असर बलरामपुर चीनी और अन्य स्टॉक्स पर देखने को मिल रहा था। हालांकि बी हैवी मोलासेज से एथनॉल बनाना जारी रहेगा।

इस पर और जानकारी देते हुए सीएनबीसी-आवाज़ के लक्ष्मण रॉय ने कहा कि सरकार ने 2023-24 के लिए गन्ने के जूस से एथनॉल बनाने पर रोक लगाने का फैसला लिया है। इसके लिए अधिसूचना भी जारी कर दी है। उन्होंने कहा कि फैसले से करीब 21.4 लाख टन चीनी के बराबर एथनॉल का डायवर्जन रुकेगा

लक्ष्मण ने कहा कि गन्ने के जूस से दो तरह से एथेनॉल बनता है। एक शुगर के जूस से बनता है और दूसरा बी हैवी मोलासेज से एथनॉल बनता है, यानी कि गन्ने जूस निकालने के बाद जो मोलासेज बचता है उससे भी एथेनॉल बनाया जाता है। मोलासेज से जो एथेनॉल बनता है उस पर रोक नहीं लगाई है बल्कि गन्ने के जूस से एथेनॉल बनता है उस पर रोक लगाई गई है।

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