Madhya Pradesh Election Results 2024: इंदौर लोकसभा सीट से आज जीतने वाले ने भी रिकॉर्ड बनाया और कोई भी कैंडिडेट न चुनने का विकल्प देने वाले नोटा (NOTA) ने भी। इस सीट से बीजेपी के उम्मीदवार शंकर लालवानी ने 11,75,092 मतों के भारी अंतर से जीत हासिल की। इस चुनाव में यह देश भर की 543 सीट पर रिकॉर्ड मतों के अंतर से जीत है। शंकर लालवानी ने न सिर्फ भारी अंतर से जीत हासिल कर रिकॉर्ड बनाया, बल्कि बीजेपी का इस सीट पर 35 साल से कब्जा भी कायम रखा। अपने उम्मीदवार के पर्चा वापस लेने के कारण कांग्रेस पहली बार इंदौर के चुनावी दौड़ से बाहर थी। शंकर लालवानी को 12,26,751 वोट हासिल किए। लालवानी के निकटतम प्रतिद्वंद्वी बहुजन समाज पार्टी प्रत्याशी संजय सोलंकी को 51,659 मतों से संतोष करना पड़ा।
इंदौर में कांग्रेस के घोषित प्रत्याशी अक्षय कांति बम ने पार्टी को तगड़ा झटका देते हुए नामांकन वापसी की आखिरी तारीख 29 अप्रैल को अपना पर्चा वापस ले लिया और वह इसके तुरंत बाद बीजेपी में शामिल हो गए थे। इस प्रकार इस सीट के 72 साल के इतिहास में कांग्रेस पहली बार चुनावी दौड़ से बाहर हो गई। इसके बाद कांग्रेस ने स्थानीय मतदाताओं से अपील की कि वे ईवीएम पर 'नोटा' का बटन दबाकर भाजपा को सबक सिखाएं। इंदौर में इस बार 'नोटा' को 2,18,674 वोट हासिल हुए जो एक रिकॉर्ड है।
कांग्रेस की इस अपील पर शंकर लालवानी का क्या है रिएक्शन
शंकर लालवानी ने अपनी जीत का श्रेय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व को दिया। उन्होंने कहा कि इंदौर में भाजपा की जीत प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व की जीत है। वहीं कांग्रेस की 'नोटा' की अपील को उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने ‘नकारात्मक भूमिका’ निभाई। उन्होंने कहा कि पिछले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस उम्मीदवार पंकज संघवी को जितने वोट मिले थे, इस बार उसके आधे वोट भी कांग्रेस के समर्थन वाले नोटा को नहीं मिल सके। यह दर्शाता है कि इंदौर की जनता ने कांग्रेस को नकार दिया है। वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव के दौरान लालवानी ने अपने नजदीकी प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस प्रत्याशी पंकज संघवी को 5.48 लाख वोट से हराया था। शंकर लालवानी ने कहा कि वह सांसद के तौर पर अपने नये कार्यकाल के दौरान इंदौर में यातायात, पेयजल और पर्यावरण के क्षेत्रों को प्राथमिकता देते हुए काम करेंगे।