कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने वायनाड लोकसभा सीट से अपने नामांकन में अपने निवेश के बारे में बताया है। इससे पता चलता है कि गांधी का इनवेस्टमेंट पोर्टफोलियो काफी डायवर्सिफायड है। उनका 40 फीसदी से ज्यादा निवेश फाइनेंशियल एसेट्स में है। दिलचस्प बात यह है कि 2014 में एनडीए गठबंधन ने केंद्र में 10 साल पुरानी यूपीए सरकार को सत्ता से उखाड़ फेंका था। तब राहुल गांधी का शेयरों में कोई निवेश नहीं था। राहुल के पोर्टफोलियो को डायवर्सिफायड बनाने में उनके इनवेस्टमेंट एडवाइजर का हाथ हो सकता है। लेकिन, मजेदार बात यह है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 10 साल के शासन में शेयर बाजार में आई तेजी ने राहुल को शेयरों में निवेश करने के लिए प्रोत्साहित किया होगा।