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Mamaearth Shares: 20% गिरकर लोअर सर्किट में आया शेयर, निवेशकों में मची भगदड़, IPO प्राइस से भी नीचे आया भाव

Mamaearth Share Price: मामाअर्थ की पैरेंट कंपनी, होनसा कंज्यूमर को सितंबर तिमाही में करीब 19 करोड़ रुपये का शुद्ध घाटा हुआ, जबकि एक साल पहले इसी तिमाही में कंपनी 29 करोड़ रुपये के मुनाफे में रही थी। EBITDA के स्तर पर भी कंपनी करीब 30.7 करोड़ रुपये के घाटे में रही। कंपनी का रेवेन्यू भी सितंबर तिमाही में 7 फीसदी घटकर 462 करोड़ रुपये रहा, जो एक साल पहले इसी तिमाही में 496 करोड़ रुपये था

Moneycontrol Newsअपडेटेड Nov 19, 2024 पर 12:16 AM
Mamaearth Shares: 20% गिरकर लोअर सर्किट में आया शेयर, निवेशकों में मची भगदड़, IPO प्राइस से भी नीचे आया भाव
Mamaearth Share Price: इमके ने होनासा कंज्यूमर की रेटिंग को 'Buy' से घटाकर 'Sell' कर दिया है

Mamaearth Share Price: मामाअर्थ की पैरेंट कंपनी, होनसा कंज्यूमर के शेयर सोमवार 18 नंवबर को औंधे मुंह गिर गए। शेयर का भाव 20% घटकर लोअर सर्किट सीमा में आ गया। इसके साथ ही मामाअर्थ के शेयरों का भाव अब इसके 324 रुपये के IPO प्राइस के भी नीचे चला गया है। यह गिरावट कंपनी के सितंबर तिमाही के निराशाजनक नतीजों के ऐलान के बाद आया है। होनसा कंज्यूमर सितंबर तिमाही के दौरान घाटे में रही। यह पिछली 5 तिमाहियों में पहली बार है, जब कंपनी ने घाटा दर्ज किया है।

होनसा कंज्यूमर को सितंबर तिमाही में करीब 19 करोड़ रुपये का शुद्ध घाटा हुआ, जबकि एक साल पहले इसी तिमाही में कंपनी 29 करोड़ रुपये के मुनाफे में रही थी। EBITDA के स्तर पर भी कंपनी करीब 30.7 करोड़ रुपये के घाटे में रही। कंपनी का रेवेन्यू भी सितंबर तिमाही में 7 फीसदी घटकर 462 करोड़ रुपये रहा, जो एक साल पहले इसी तिमाही में 496 करोड़ रुपये था।

कंपनी के मैनेजमेंट ने इनवेंट्री में गिरावट के अलावा अपने सबसे प्रमुख ब्रांड, मामाअर्थ की ग्रोथ में सुस्ती को भी स्वीकार किया और कहा कि इसे आगामी तिमाहियों में रफ्तार देने के लिए नई रणनीतियां बनाने की जरूरत है।

खराब नतीजों के बाद अधिकतर ब्रोकरेज फर्मों ने कंपनी की रेटिंग या टारगेट प्राइस में कटौती की है। विदेशी ब्रोकरेज फर्म जेपी मॉर्गन ने होनसा कंज्यूमर के शेयरों को 'अंडरवेट' की रेटिंग दी है और इसके टारगेट प्राइस को घटाकर 330 रुपये कर दिया है। ब्रोकरेज ने रेवेन्यू के कम अनुमान और कमजोर मार्जिन आउटलुक को देखते हुए इसकी वित्त वर्ष 25-26 की अर्निंग्स अनुमानों में भारी कटौती की है।

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