पिछले हफ्ते बीएसई सेंसेक्स में 950 अंक और निफ्टी में 300 अंकों से ज्यादा की गिरावट रही
Dalal Street Thia Week: पिछले तीन ट्रेडिंग सेशन में मंदड़ियों के हमले से बीते हफ्ते में मार्केट को मिली बढ़त गायब हो गई और 16 सितंबर को समाप्त सप्ताह के दौरान बेंचमार्केट इंडाइसेस में 1.5 फीसदी से ज्यादा की गिरावट दर्ज की गई। यूएस फेडरल रिजर्व के आगामी पॉलिसी मीटिंग में महंगाई को काबू में करने के लिए आक्रामक रूप से दरों में बढ़ोतरी की आशंकाओं, यूएस डॉलर और बॉन्ड यील्ड में मजबूती और विदेशी निवेशकों की बिकवाली से बाजार में गिरावट देखने को मिल रही है।
टेक्नोलॉजी सेक्टर को सबसे ज्यादा झटका लगा, जो सात फीसदी टूटा। इसके अलावा ऑटो, एफएमसीजी, तेल और गैस, फार्मा और रियल्टी स्टॉक्स में भी गिरावट रही। हालांकि, बैंक और मेटल्स ट्रेंड के उलट प्रदर्शन करते नजर आए। बीएसई सेंसेक्स में 950 अंक और निफ्टी में 300 अंकों से ज्यादा की गिरावट रही।
रेलिगेयर ब्रोकिंग के वाइस प्रेसिडेंट अजित मिश्रा ने कहा, “वैश्विक गिरावट के बीच घरेलू बाजारों में अच्छी मजबूती दिखी है। हालांकि यूएस फेड के दरों में बढ़ोतरी की आशंका से तेजी सीमित हुई है और हाल की गिरावट आई है। यूएस मार्केट से मिल रहे संकेतों के बीच मार्केट स्ट्रक्चर को देखते हुए आगे और गिरावट आती दिख रही है।” बाजार के लिए अगले हफ्ते ये 10 फैक्टर हो सकते हैं अहम :
फेड मीटिंग
Fed Meet : दुनिया की नजरें यूएस फेडरल पॉलिसी की दो दिवसीय मीटिंग के नतीजों के 21 सितंबर को होने वाले ऐलान पर टिकी हैं। इनवेस्टर्स को Federal Open Market Committee द्वारा इंटरेस्ट रेट्स में 75 बेसिस प्वाइंट की बढ़ोतरी की उम्मीद है, जिसका असर बाजार पर दिख चुका है। हालांकि, अगर 100 बीपीएस की बढ़ोतरी होती है तो सेंटीमेंट को तगड़ा झटका लगेगा।
यूएस डॉलर और बॉन्ड यील्ड्स में उछाल
US dollar and bond yields : अमेरिका में महंगाई के आंकड़े जारी होने से पहले यूएस डॉलर इंडेक्स 110 के स्तर से ऊपर निकल गया है जो 2002 के बाद से सबसे ज्यादा है। हालांकि, बाद में इसमें कमी आई। वहीं, यूएस फेड की मीटिंग से पहले अमेरिका की 10 साल की ट्रेजरी यील्ड्स 3.5 फीसदी के नजदीक (2011 के बाद सबसे ज्यादा) पहुंच गई, जो पिछले महीने 3 फीसदी के स्तर पर थी। इसलिए, इन दोनों सेगमेंट पर भी बाजार की नजर रहेगी।
FII : यूएस डॉलर में मजबूती के बीच पिछले तीन दिन में विदेशी निवेशकों ने खासी बिकवाली की। यहां तक कि घरेलू संस्थागत निवेशकों में भी पिछले हफ्ते यही ट्रेंड नजर आया। FIIs ने पिछले हफ्ते 1,900 करोड़ रुपये और घरेलू संस्थागत निवेशकों (DIIs) ने 2,900 करोड़ रुपये की बिकवाली की, जिससे बाजार पर दबाव बना रहा।
ग्लोबल डाटा
Global Economic Data Points : फेड की मीटिंग के अलावा, Bank of England और Bank of Japan गुरुवार को इंटरेस्ट रेट पर ऐलान करेंगे।
तेल की कीमतें
Oil Prices : इस महीने तेल की कीमतें 100 डॉलर प्रति बैरल से नीचे बनी हुई हैं और 90 डॉलर का स्तर भी छू चुकी हैं। तेल पर इंटरेस्ट रेट में बढ़ोतरी से ग्लोबल ग्रोथ को झटका लगने की आशंकाओं का असर दिख रहा है। इससे तेल की डिमांड कमजोर हो सकती है। एनालिस्ट्स को उम्मीद है कि पश्चिम देशों में मंदी की आशंकाओं में बढ़ोतरी के चलते आगामी हफ्तों में तेल की कीमतें और गिर सकती हैं।
Economic Data Points : 9 सितंबर को समाप्त पखवाड़े का बैंक लोन और डिपॉजिट ग्रोथ का डाटा आगामी शुक्रवार को जारी होगा। पिछले पखवाड़े में बैंक लोन की ग्रोथ 15.5 फीसदी और डिपॉजिट ग्रोथ 9.5 फीसदी रही थी।
विदेशी मुद्रा भंडार का आंकड़ा 16 सितंबर को आएगा।
टेक्निकल व्यू
Technical View : अगर हम पिछले तीन दिन के कैंडिलस्टिक पैटर्न को देखें तो हमें निफ्टी50 में डार्क क्लाउड कवर (Dark Cloud Cover) बनता दिख रहा है। वहीं वीकली स्केल पर Bearish Engulfing जैसा पैटर्न दिख रहा है। इसके अलावा इंडेक्स ने 29 अगस्त, 7 सितंबर और 14 सितंबर को सपोर्ट तोड़ दिए हैं।
एचडीएफसी सिक्योरिटीज के टेक्निकल रिसर्च एनालिस्ट नागराज शेट्टी ने कहा, “निफ्टी को वर्तमान में 17,450-17,500 के स्तरों पर सपोर्ट हासिल है, जो पिछला स्विंग लो और ट्रेंड लाइन सपोर्ट भी है। यह सपोर्ट भी जल्द टूटने का अनुमान है।” मार्केट एक्सपर्ट ने कहा कि अगले कुछ हफ्तों में लगभग 17,200-17,150 के निचले स्तर देखने को मिल सकते हैं।
F&O Cues
एक्सपर्ट्स ने कहा कि ऑप्शन डाटा से संकेत मिलते हैं कि Nifty50 इमीडिएट टर्म में 17,300-17,800 की रेंज में रह सकता है। वहीं ब्रॉडर ट्रेडिंग रेंज 17,000 से 18,000 के स्तरों के बीच रह सकती है।
स्वास्तिका इनवेस्टमार्ट के रिसर्च हेड संतोष मीणा ने कहा, अगर हम डेरिवेटिव डाटा पर गौर करें तो पुट-कॉल रेश्यो 0.76 के ओवरसोल्ड रेश्यो तक खिसक चुका है। इसलिए इसके 17,500-17,300 के जोन में बाउंसबैक की एक संभावना है। इंडेक्स फ्यूचर में एफआईआई की शॉर्ट पोजिशन 28 फीसदी के निचले स्तर पर हैं, इसलिए हम कुछ शॉर्ट कवरिंग की संभावनाएं देखते हैं।
India VIX
वॉलेटिलिटी इंडेक्स के 20 के स्तर पर पहुंचने से, तेजड़िये असहज स्थिति में हैं और इससे आने वाले सत्रों में ज्यादा उतार-चढ़ाव के संकेत मिल रहे हैं। इसके 18 के अहम स्तर से नीचे जाने तक बाजार में स्थिरता आने की संभावना नहीं है।
कॉर्पोरेट एक्शन
आने वाले हफ्ते के लिए ये हैं अहम कॉर्पोरेट एक्शन :
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